
- नुकसान भरपाई का सर्वे शुरू
अकोला. दो दिनों तक हुई असमय बारिश तथा कुछ क्षेत्रों में हुई ओलावृष्टि के कारण किसानों का नुकसान हुआ है जिसमें मुख्य रूप से पातुर तहसील, बार्शीटाकली तहसील तथा तेल्हारा तहसील में किसानों की फसलों का नुकसान होने की जानकारी मिली है. पातुर तहसील के कोठारी खुर्द, कोठारी बु, आस्टूल, पास्टूल, पांगरताटी, आलेगांव, उमरवाड़ी, पिंपरडोली, राहेर, उमरा आदि गांवों में गेहूं, चना, मूंग, ज्वार, प्यार, मूंगफली, संतरा, मोसंबी, नींबू, तरबूज, खरबूज, पपीता की फसलों का नुकसान हुआ है. जानकारी के अनुसार जो प्राथमिक सर्वे किया गया है जिसमें पातुर व बार्शीटाकली तहसीलों में 528 हेक्टेयर से अधिक क्षेत्र में नुकसान होने की जानकारी सामने आयी है.
नुकसान भरपाई का सर्वे शुरू
पातुर, बार्शीटाकली तथा तेल्हारा तहसीलों में असमय बारिश और ओलावृष्टि से किसानों का जो नुकसान हुआ है उन नुकसानग्रस्त खेतों का सर्वे जिला प्रशासन की ओर से शुरू किया गया है. संबंधित तहसीलदारों द्वारा प्राथमिक अहवाल भी जिलाधिकारी के पास प्रस्तुत किए गए हैं. सर्वे पूरा होने के बाद ही किसानों को मदद दी जा सकेगी. अभी भी थोड़ी देर के लिए धूप निकल रही है और फिर मौसम बदरीला हो जाता है.
मौसम विभाग द्वारा 21 मार्च तक इसी तरह की परिस्थिति रहने की जानकारी दी गयी है. 18 मार्च को हुई असमय बारिश के कारण तेल्हारा तहसील में 9.9 मि.मी. बारिश दर्ज की गयी है. यहां भी किसानों की फसलों तथा फलबागों का नुकसान हुआ है. पूरे जिले में 2.3 मि.मी. बारिश दर्ज की गयी है.
मदद करने में देर न करे सरकार-धनंजय मिश्रा
शेतकरी संगठन के विदर्भ के अध्यक्ष धनंजय मिश्रा से बातचीत करने पर उन्होंने कहा कि, इस वर्ष किसानों को कपास और सोयाबीन के जितने दाम मिलने चाहिए थे उतने नहीं मिले हैं, जिसके कारण कई किसानों ने अभी भी कपास बेचने के लिए नहीं निकाली है, इस कारण किसानों को उत्पादन खर्च भी नहीं निकल पा रहा है, किसान पहले ही आर्थिक संकट में हैं उस पर इस असमय बारिश और ओलावृष्टि से उनका भारी नुकसान हुआ है. सरकार का काम है कि इस संकट की घड़ी में असमय बारिश और ओलावृष्टि से जिन किसानों का नुकसान हुआ है उन किसानों को तुरंत आर्थिक मदद प्रदान करें और मदद प्रदान करने में बिलकुल भी देर न लगाएं तथा किसानों को सहानुभूति का हाथ दें.