Aurangabad will be seen in new form in 2022: Aastik Kumar Pandey

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    औरंगाबाद : महानगरपालिका कमिश्नर (Municipal Commissioner) के रुप में मैंने 2 साल 7 महीने पूर्व पदभार (Incharge) संभाला था। इसमें मेरे दो साल कोविड महामारी का मुकाबला करने में गुजरे। महामारी के काल में जनता को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं देने के लिए मैंने बेहतर प्रयास किए। साथ ही विविध विकास कार्यों (Miscellaneous Development Works) को बढ़ावा देने में कामयाब होने का दावा महानगरपालिका कमिश्नर का पदभार नए कमिश्नर डॉ. अभिजीत चौधरी (Commissioner Dr. Abhijit Choudhary) को सौंपने के बाद तत्कालीन कमिश्नर आस्तिक कुमार पांडेय (Aastik Kumar Pandey) ने किया। 

    उन्होंने पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा कि शहर के सांसद, विधायकों की सहकार्य से शहर में कई महत्वपूर्ण प्रकल्पों को पूरा किया। स्मार्ट सिटी के माध्यम से 40 प्रोजेक्ट हाथ में लिए गए, उनमें कुछ पूरे हुए और आने वाले 8 से 10 महीने में बकाया सभी प्रकल्प पूरे होंगे। 

    कर्ज की राशि लौटाई 

    पांडेय ने बताया कि उन्होंने अपने कार्यकाल में ठेकेदारों की बकाया 286 करोड़ की राशि अदा की। इसके अलावा बैकों को 252 करोड़ का कर्ज अदा करना था, वह भी अदा हुआ। विशेषकर एलआईसी के 70 करोड़ की राशि बकाया थी, वह राशि भी अदा की। जिसके चलते औरंगाबाद महानगरपालिका मेरे कार्यकाल में बीप्लसप्लस रेटिंग प्राप्त करने में कामयाब हुई। स्मार्ट सिटी के माध्यम से ई-गवर्नर, स्मार्ट बस, 252 करोड़ के सड़कों के काम शुरु करने के साथ ही कई अन्य विकास कार्य किए। 

    डीपी प्लान और नौकर भरती न होने पर जताया खेद  

    महानगरपालिका के तत्कालीन कमिश्नर आस्तिक कुमार पांडेय ने उनके कार्यकाल में महानगरपालिका में नौकर भरती न होने और शहर का विकास प्रारुप (डीपी प्लान) भी पूरा न होने पर खेद व्यक्त किया। उन्होंने उनके कार्यकाल में बाहरी संस्थाओं की मदद से खाम नदी की गई सफाई और वहां किए गए विकास कार्यों को सराहा। शहर में पेयजल आपूर्ति एक सप्ताह बाद होती थी, परंतु, मातहत अधिकारियों की मदद से अब शहर के सभी इलाकों में 4 दिन गैप देकर हो रही पेयजल आपूर्ति पर आस्तिक कुमार पांडेय ने संतुष्ट हुए।