Employees Strike

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राजुरा. अंशदायी पेंशन योजना रद्द कर पुरानी पेंशन योजना लागू करने की मांग को लेकर राज्य सरकारी कर्मचारी की हड़ताल तहसील में बुधवार को दूसरे दिन भी जारी रही. इस बीच, राज्य सरकारी, अर्धसरकारी कर्मी, शिक्षक, शिक्षकेतर कर्मचारियों ने बुधवार को पंचायत समिति चौक से डा. बाबासाहब आम्बेडकर की प्रतिमा तक रैली निकाली. हड़ताल में तहसील के सरकारी, अर्धसरकारी, स्वास्थ्य, शिक्षक, शिक्षकेतर कर्मचारी, तहसील, पंचायत समिति, वन विभाग आदि विभागों के कर्मचारी शामिल हुए हैं.

वीरान पड़े सरकारी कार्यालय

राज्यव्यापी हड़ताल में शामिल होने से सरकारी कार्यालयों में सन्नाटा छाया रहा. कार्यालय बुधवार को भी दिन भर वीरान पड़े रहे. कर्मचारी पुरानी पेंशन के लिए मोर्चा निकालकर और ठिया आंदोलन कर सरकार का ध्यानाकर्षण कर रहे हैं. आंदोलन में विदर्भ माध्यमिक शिक्षक संघ के जिलाध्यक्ष केशव ठाकरे, पुरोगामी शिक्षक समिति के अध्यक्ष संदीप कोंडेकर, प्रदीप पायघन, किरण लांडे, हंसराज शेंडे, स्वास्थ्य विभाग संगठन के पी.आई. कामडी, सुरेश खाड़े, राजस्व विभाग की रंजीता कोहपरे, वन विभाग के संतोष कुकडे, अमोल बदखल, पंकज गावडे, राजू डाहुले, सुधीर झाडे, दीपक भोपले, श्रीकांत भोयर आदि हिस्सा ले रहे हैं.

आंदोलन को लेकर शिक्षकों में संभ्रम

विदर्भ माध्यमिक शिक्षक संघ ने हड़ताल में शामिल होने की घोषणा की थी. इसके अनुसार शिक्षक एवं शिक्षकेतर कर्मचारी हड़ताल में शामिल हुए. लेकिन बुधवार को सोशल मीडिया पर प्रांतीय अध्यक्ष बरडे और विधान परिषद के शिक्षक विधायक सुधाकर अडबाले के नाम से वायरल हुए मैसेज के कारण शिक्षक कर्मचारी संभ्रम में पड़ गए. अपनी लड़ाई विद्यार्थियों और अभिभावकों से नहीं है शासन से है. कक्षा 10वीं-12वीं की परीक्षा शुरू है. बोर्ड का काम होने से सहयोग करने का मैसेज वाट्सएप ग्रुप पर आया. जिससे अनेक शिक्षक हड़ताल में शामिल होने के साथ-साथ परीक्षा केंद्रों पर पर्यवेक्षक के रूप में बोर्ड का काम भी करने गए.