Illegal tree cutting
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  • वन्यप्रेमियों में संतप्त क्रोध 

चंद्रपुर. हालही में घोषित हुए कन्हालगांव अभयारण्य से सटे गोंडपिंपरी तहसील के गोजोली बीट के कक्ष क्रमांक 159 में लाखों रूपयों के सागौन की अवैध वृक्षकटाई करने की गंभीर घटना शुक्रवार को उजागर हुई. परंतु इस घटना की ओर वनरक्षकों की ओर से अनदेखी की जा रही है. अधिकारीयों के कार्यालय से कुछ ही दूरी पर यह वृक्षकटाई की जा रही है परंतु अधिकारीयों को इसकी भनक तक नही है यह आश्चर्य की बात है. वन्यप्रेमीयों द्वारा इसकी जानकारी देने के बावजुद वनविभाग के अधिकारीयों से कार्रवाई में लापरवाही बरतने से वन्यप्रेमीयों में संतप्त क्रोध है. 

गोंडपिंपरी से कुछ ही दूरी पर स्थित गोजोली बीट में रोड से 1 से 2 किमी की दूरी पर बडी संख्या मे सागौन वृक्षों की अवैध तौर पर कटाई किए जाने जाने की जानकारी शुक्रवार को उजागर हुई. गोंडपिंपरी तहसील में कार्यरत स्थानीय जागरूक नागरीको ने यहां के वन्यप्रेमियों के ध्यान में यह बात लाने से अवैध वृक्ष कटाई का मामला सामने आया है. यह कई वृक्ष 24 घंटे पहले तोडे जाने की संभावना व्यक्त की जा रही है. परसों तक जंगल में सहीसलामत खडे सागौन वृक्षों की रात में तस्कारों द्वारा कटाई कर ले गए. आरी से वृक्ष काटे जाने से यह वृक्ष कटाई पूर्वनियोजित होने की संभावना व्यक्त की जा रही है. इस मामले में वनविभाग से दोषीयों पर सक्त कार्रवाई करने की मांग वन्यप्रेमियों से की जा रही है. 

फर्निचर दुकानदारों की ओर संदेह 

गोजोली गांव में फर्नीचर की कई दुकाने है. इन दुकानों से चोरी का माल बेचे जाने की चर्चा है. गोजोली में फर्निचर चालक गोजोली बीट से हमेशा वृक्ष कटाई करने की जानकारी स्थानीय नागरीकों से प्राप्त हुई है. यहां के वनरक्षकों के साथ इन तस्करों की साझगांठ होने की चर्चा है. इसके पहले भी एक दुकान से चोरी के लकडे जब्त किए गए थे. परंतु इस तरह के गंभीर मामलों की ओर वरिष्ठ वनअधिकारीयों द्वारा जानबुझकर अनदेखा किया जा रहा है. 

बाघ के भ्रमणमार्ग में रूकावट 

फिलहाल गोजोली से सटे डोंगरगांव, सुकवासी क्षेत्र में बाघ समेत तीन शावकों को संचार है. यह बाघों का भ्रमण मार्ग है. परंतु रात के समय वृक्षों की अवैध कटाई होने से उनके भ्रमणमार्ग पर रूकावट निर्माण की जा रहा है. परिणामत: मानव वन्यजीव संघर्ष निर्माण होने में बढावा दिया जा रहा है. वनरक्षक व अधिकारीयों के मुख्यालय से 1 किमी दूरी पर यह वृक्षकटाई की जा रही है. परंतु इसकी भनक तक वनविभाग को नही है. इससे वनरक्षक व तस्करीयों में सांझगांठ होने की चर्चा गांव में है. 

नियमीत गस्त के अभाव से तस्कर सक्रीय 

गोंडपिपरी क्षेत्र में 5 तेंदुआ है. यहां के क्षेत्र सहायक पी पी ढाले यह चंद्रपुर से आवाजाही करते है. वे वनरक्षकों को पूर्ण समय नही दे पाते. जिससे नियमीत गस्त नही हो रही है. मुख्यालय नही होने तथा रात के समय गस्त नही होने से वन व वन्यप्राणियों के संरक्षण पर विपरित असर हो रहा है. यह मौका पाकर ही जंगल में तस्करी व शिकारी सक्रीय होने की संभावना है. 

यह प्रकार काफी गंभीर है. सभी कर्मचारी व अधिकारी को मुख्यालय में रहने की सूचना दी गई है. अवैध वृक्षकटाई मामले में अधिक जांच करने के पश्चात उचीत कार्रवाई की जायेगी.- अरविंद मुंडे, उप वनसंरक्षक, मध्य चांदा वनविभाग, चंद्रपुर.