दुपहीया विक्रेताओं ने निगल लिया सडक, कार्रवाई पश्चात कुछ दिन बाद पुन: वाहन सडकों पर

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    • एसपी के कार्रवाई को दिखा रहे कचरे की टोकरी 

    चंद्रपुर. पिछले 7.5 वर्षों में चंद्रपुर महानगर तेजी से विकसित हुआ है. इसमें प्रमुख सड़कों का चौड़ीकरण और सौंदर्यीकरण शामिल है. परंतु यह मार्ग अब सामान्य नागरीकों के वाहनो की आवागमन के लिए कम पड रहा है. इन सडकों पर अब सेकंड हैन्ड कार व दुपहीया विक्रेताओं ने सडक को निगल लिए जाने से इन सड़कों के विकास और सौंदर्यीकरण से वास्तव में किसे लाभ हो रहा है यह सवाल अब चर्चा का विषय बन रहा है. दुपहीया विक्रेताओं को सडकों पर वाहन ना रखने की एसपी रविंद्र सिंग परदेशी ने सक्त चेतावनी दिए जाने के बाद भी सडकों पर सेकंड हैन्ड वाहन रखकर एसपी के आदेश को कचरे की टोकरी दिखाई जा रही है. 

    शहर के चंद्रपुर नागपुर मार्ग पर निजि ट्रैव्हल्स भी बेखौफ होकर सडकों पर पार्कींग किए जा रहे है. जिससे हादसों को निमंत्रण दिया जा रहा है. कुछ दिन पहले नागपुर-चंद्रपुर मार्ग, जिलाधिश कार्यालय के पास एसपी रविंद्र सिंग परदेशी के आदेश पर पुलिस ने कार्रवाई की थी. उसके बाद कुछ दिन सेकंड हैन्ड वाहनचालकों ने सडकों पर वाहन रखना बंद कर दिया था. परंतु अब पुन: पहले जैसी स्थिति निर्माण हो गयी है. 

    शहर के हर महत्वपूर्ण चौराहे पर वाहनों के जाम की वजह से रोजाना लंबी कतारें लगना आम बात है. नागरिकों को नजदीकी दूरी तय करने में काफी समय लग रहा है. ऐसे में गुस्साए नागरिक जिला प्रशासन के प्रशासन पर सवाल उठा रहे हैं. एसपी ने नियुक्ति के बाद ताडोबा रोड का अतिक्रमण दूर कर आम जनता के लिए सडक खुली कर दी है. इससे उनकी आम जनता में सराहना की जा रही है.

    इसी प्रकार शहर के अन्य मार्ग पर किया गया अतिक्रमण को हटाने की मांग जोर पकड रही थी. उसपर भी कार्रवाई करते हुवे लोगों केा राहत दिलायी थी. परंतु सेकंड हैन्ड वाहन विक्रेता तथा निजि बस संचालकों द्वारा मुजोर भूमिका अपनाए जाने से आम जनता को असुविधा का सामना करना पड रहा है. इस बारे में एसपी को संबंधितों के खिलाफ सक्त कार्रवाई करने की आवश्यकता है. 

    जिलाधिश कार्यालय, सिविल लाइन, मुख्य सड़क क्षेत्र पर दुपहीया विक्रेता व ट्रैव्हल्स चालकों ने कब्जा कर लिया है. जिसमें बड़ी संख्या में खाद्य विक्रेता और सेकेंड हैंड टू व्हीलर वेंडर हैं. नागरिकों को विभिन्न कार्यों के लिए जिलाधिश कार्यालय आना पड़ता है. ऐसे में जिलाधिश कार्यालय के सामने सैकडो सेकंड  हैन्ड दुपहिया वाहनों को खड़ा रखा जाता है. जिससे मार्ग संकरा होता जा रहा है. साथ अन्य वाहन चालकों को वाहन चलाने में समस्या निर्माण हो रही है. ऐेस में हादसों में वूध्दी होने की संभावना है. अब यह मुद्दा शहरवासियों के लिए चर्चा का विषय बन रहा है.