Markandeshwar Renovation

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    • दिल्ली दरबार में हुए बैठक का भी नहीं असर

    चामोर्शी: पुरातत्व विभाग के अनदेखी के कारण चामोर्शी के मार्कंडेश्वर देवस्थान के जीर्णोद्धार का निर्माण थंडेबस्ते में है. इस निर्माणकार्य को पूर्ण करने हेतु तत्काल गति दे, इस मांग को लेकर मार्कंडेश्वर देवस्थान ट्रस्ट के पदाधिकारियों ने सांसद अशोक नेते के उपस्थिती में नई दिल्ली में केंद्रीय मंत्री नितीन गडकरी, पुरातत्व विभाग के अतिरिक्त महानिर्देशक डा. आर. त्रिपाठी की दिल्ली में भेट लेकर चर्चा की. इस बात को अब 2 माह का कालावधि बितने के बावजूद जिर्णोद्धार के कार्य को शुरूआत नहीं हुई. जिस कारण मंदिर के जीर्णोद्धार के कार्य का मुहूर्त कब निकलेगा, ऐसा सवाल श्रद्धालुओं द्वारा पुछा जा रहा है. 

    चामोर्शी तहसील के मार्कंडेश्वर मंदिर का नए से निर्माण करने के लिए वर्ष 2015 में अधिक्षिका नंदिनी शाहू व मस्के के उपस्थिती में मंदिर खोला गया. इसके पश्चात उनका तबादला हुआ, रायपुर के हाश्मी अधिक्षक की ओर कार्य दिया गया. बाद में रेड्डी नामक अधिक्षक आए. यहां से कार्य को शुरूआत हुई. किंतु किए गए कार्य में पत्थरों की फिटिंग उचित न होने के कारण यह कार्य बंद किया गया. इस कार्य की शुरूआत विगत 7 वर्ष पूर्व हुई. किंतु अबतक कार्य पूर्ण नहीं हुआ है. इस मंदिर निर्माणकार्य को पुरातत्व विभाग की ओर से गति देना आवश्यक था. देवस्थान ट्रस्ट के अध्यक्ष गजानन भांडेकर ने निरंतर संबंधित विभाग को पत्रव्यवहार किया. किंतु पुरातत्व विभाग के अनदेखी के चलते अबतक मंदिर निर्माणकार्य प्रलंबित है. 

    प्रयास करने के बावजूद मांग की ओर अनदेखी 

    आगामी समय में महाशिवरात्री मेले का विचार कर संबंधित विभाग मार्कंडेश्वर देवस्थान मंदिर का निर्माणकार्य पूर्ण करे व मार्कंडेश्वर देवस्थान के विकास के लिए निधि उपलब्ध कराएं, ऐसी मांग सांसद अशोक नेते व देवस्थान ट्रस्ट के अध्यक्ष गजानन भांडेकर ने पुरातत्व विभाग के अतिरिक्त महानिर्देशक डा. आर. त्रिपाठी से की थी. किंतु मांग की ओर अनदेखी हो रही है. 

    बिता 7 वर्ष का कालावधि 

    इससे पूर्व अनेक बार देवस्थान ट्रस्ट के अध्यक्ष गजानन भांडेकर ने राज्य के मुख्यमंत्री, पालकमंत्री, विधायक, सांसद, भारतीय पुरतत्व विभाग के अधिकारियों से मुलाकात कर मंदिर जीर्णोद्धार का कार्य पूर्ण करने हेतु प्रयास किया. किंतु 7 वर्ष काा कालावधि बितने के बावजूद कार्य शुरू नहीं हो पाया. जिस कारण आगामी 18 फरवरी से शुरू होनेवाले महाशिवरात्री मेले को आनेवाले श्रद्धालुओं में इस वर्ष भी मायुसी रहनेवाली है.