हक्कलेख निक्षेप की सुविधा होगी उपलब्ध; जिलाधीश की पहल पर प्रलंबित मुद्दों का किया गया समाधान

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    गोंदिया. जिले की पहचान राज्य के प्रमुख धान उत्पादक जिले के रुप स्थापित है. जिससे जिले का मुख्य व्यवसाय चावल मिल (राईस मिल) है.  जिले के गठन के बाद से उद्यमियों के लिए हक्कलेख निक्षेप (Equitable Mortgage) की सुविधा नहीं होने के कारण जिले के उद्यमियों को दूसरे जिलों में जाना पड़ता.

    इस  सुविधा के लिए जिलाधीश नयना गुंडे की पहल से हाल ही में जिले के सभी मुख्यालय स्थानों पर व्यवसाय के लिए इसकी सुविधा शुरू की गई है व  जिले के सभी उद्यमियों और नागरिकों से इसका लाभ लेने की अपील की गई है.  राइस मिलर्स एसो. गोंदिया द्वारा व्यवसाय में आ रही बाधाओं को दूर करने के लिए यह मुद्दा जिलाधीश के संज्ञान में लाया गया था. दस्त मालमत्ता हस्तांतरण अधिनियम, 1882  से जिले में उक्त उपलब्ध नहीं थी. 

    जिले का गठन वर्ष 1999 में हुआ लेकिन   जिले के नागरिकों/व्यवसायियों को जमा सुविधा के लिए भंडारा और नागपुर जिलों में जाना पड़ता था. जिलाधीश की पहल पर पंजीयन  महानिरीक्षक व स्टाम्प नियंत्रक श्रवण हार्डिकर ने अधिनियम में अधिक्रमण कर गोंदिया जिले और सभी तहसील मुख्यालयों को शामिल किया है.

    जिले के राईस मिलर्स द्वारा जिला प्रशासन का आभार व्यक्त किया गया है. उक्त सुविधा से जिले के उद्यमियों को प्रोत्साहन मिलेगा ऐसी अपेक्षा व्यक्त की जा रही है. इस अवसर पर अपर जिलाधीश राजेश खवले, प्रभारी सह दुय्यम निबंधक  (श्रेणी-2) सरिता पराते, आपदा प्रबंधन अधिकारी राजन चौबे, राइस मिलर्स एसो. अध्यक्ष, सचिव व पदाधिकारी उपस्थित थे.

    उल्लेखनीय है कि पहले, कर्ज व्यवहार के लिए संपत्ति हस्तांतरण अधिनियम, 1882 की धारा 58 (एफ) के तहत अधिसूचित शहरों में ही बनाए जा सकते थे. इसमें गोंदिया शहर और जिला शामिल नहीं था. जिससे यहां के निवासियों और व्यापारियों को दूसरे शहरों में जाना पड़ता था, जो असुविधाजनक था. 

    राज्य सरकार राजस्व व वन विभाग ने 6 सितंबर, 2021 को इस संबंध में नई अधिसूचना जारी की है  उसके अनुसार इसके पहले की सभी अधिसूचना, आदेश या संलेख का अधिक्रमण कर उपरोक्त अधिनियम की धारा 58 के खंड (च) के प्रयोजनार्थ महाराष्ट्र  राज्य के सभी नगर, गांव, तहसील व  जिलों को शामिल किया गया है. 

    इस प्रकार  जिले का समावेश होने से यहां के निवासियों और व्यापारियों को Equitable Mortgage के लिए  अन्य जिलों में जाने की जरूरत नहीं होगी और  इस तरह के व्यवहार जिले में  बैंकों के माध्यम होने से  सहूलियत होगी. संबंधितों से इसका लाभ लेने का आव्हान  मुद्रांक जिलाधीश आर.बी. मुले ने किया है.