मुंबई: राज्य में एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) के नेतृत्व में गठित शिंदे-फडणवीस सरकार ( Shinde-Fadnavis Government) बने एक माह पुरे हो गए है, लेकिन अभी तक मंत्रिमंडल का विस्तार नहीं हो पाया है। जिसको लेकर विपक्ष की तरफ से आलोचनाएं की जा रही हैं, लेकिन सरकार जनहित के निर्णय लेने में किसी तरह की कोताही नहीं बरत रही है। शिंदे-फडणवीस सरकार ने एक माह में कई महत्वपूर्ण निर्णयों के जरिए किसानों से लेकर विद्यार्थियों तक सभी वर्ग के लोगों को खुश करने का प्रयास किया है।
सरकार ने अपने पहले ही निर्णय में पेट्रोल और डीजल पर वैट कम कर आम लोगों को राहत देने का काम किया था। इसी तरह सरकार ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ड्रीम परियोजना में शामिल बुलेट ट्रेन को फास्ट ट्रैक पर लाने का काम किया है।
30 जून को मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी
शिवसेना से बगावत करने के बाद लगभग दस दिनों तक आंख मिचौली करने वाले एकनाथ शिंदे ने 30 जून को मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी, जबकि बीजेपी नेता और पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने उपमुख्यमंत्री के रूप में शपथ लेकर तमाम लोगों को सकते में डाल दिया था।
अभी तक मंत्रिमंडल विस्तार का मुहूर्त नहीं निकल पाया
सभी को यही लग रहा था कि फडणवीस ही मुख्यमंत्री बनेंगे, लेकिन देवेंद्र फडणवीस ने जब खुद ही शिंदे के नाम की घोषणा की थी तो तमाम लोग हैरान रह गए थे। शिंदे-फडणवीस सरकार बने एक महीने हो गए हैं, लेकिन अभी तक कैबिनेट का विस्तार नहीं हो पाया है। इस बीच, मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे पांच बार दिल्ली जा चुके हैं। दिल्ली दौरे के समय उन्होंने बीजेपी के शीर्ष नेताओं से मुलाकात की थी, लेकिन अभी तक मंत्रिमंडल विस्तार का मुहूर्त नहीं निकल पाया है ।
ये हैं 15 बड़े फैसले
- पेट्रोल पर पांच रुपए और डीजल पर तीन रुपए प्रति लीटर वैट में कटौती
- औरंगाबाद का नाम संभाजीनगर और उस्मानाबाद का नाम धाराशिव करने का फैसला
- आरे में ही मेट्रो-3 कार शेड का निर्माण
- बुलेट ट्रेन परियोजना को रफ्तार
- नियमित ऋण चुकाने वाले किसानों को 50,000 हजार रुपए तक का अनुदान। पश्चिमी महाराष्ट्र के किसान भी योजना में शामिल
- कर्ज भुगतान की अवधि घटा कर दो साल की गयी
- किसानों को सिंचाई के लिए बिजली दर में प्रति यूनिट एक रुपए की रियायत
- ग्रामीण क्षेत्र के हाउसिंग योजना में एक हजार रुपए स्टांप ड्यूटी। स्टैंप ड्यूटी पर 50 प्रतिशत की छूट
- औरंगाबाद जिला के अंतर्गत पैठण तालुका में ब्रह्मगवाण उप सिंचाई परियोजना के लिए 890।64 करोड़ रुपए
- ठाणे जिले में भातसा सिंचाई परियोजना के लिए 1,491 करोड़ रुपए
- हिंगोली में बालासाहेब ठाकरे हरिद्रा रिसर्च एंड ट्रेनिंग सेंटर को 100 करोड़
- जलगांव में वाघुर परियोजना के लिए 288.31 करोड़ रुपए
- प्रदेश के 15 मेडिकल कॉलेजों में बढ़ाई जाएंगी 50-50 सीटें। इसके लिए 360 करोड़ की निधि
- मार्च 2022 तक राजनीतिक और सामाजिक आंदोलन के मामले स्थगित। कोरोना काल के मामले भी वापस लिए गए
- आपातकाल के दौरान जेल गए लोगों को पेंशन बहाल