Panvel-Karjat

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    मुंबई: एमएमआर (MMR) की तेजी से बढ़ती आबादी को देखते हुए यात्रियों की सुविधा के लिए पनवेल-कर्जत उपनगरीय रेल मार्ग (Panvel-Karjat Suburban Train Route) का काम शुरू कर दिया गया है। पनवेल (Panvel) को लोकल द्वारा सीधे कर्जत (Karjat ) से जोड़ने का काम एमआरवीसी (MRVC) के माध्यम से किया जा रहा है। हार्बर मार्ग पर पनवेल स्टेशन से मध्य रेलवे (Central Railway) के कर्जत स्टेशन तक लोकल सेवा शुरू होने में 4 साल लग सकते हैं। एमयूटीपी-3 ए के अंतर्गत पनवेल से कर्जत नई डबल लाइन का काम शुरू किया गया है। 

    एमआरवीसी के सीपीआरओ सुनील उदासी ने बताया कि पनवेल से कर्जत लोकल कॉरिडोर के लिए लगभग 74.40 प्रतिशत आवश्यक भूमि का अधिग्रहण हो चुका है। कुल 29.6 किमी लंबे मार्ग के लिए लगभग 136 हेक्टेयर भूमि की आवश्यकता है। इनमें 101 हेक्टेयर से ज्यादा भूखंड मिल गया है।

    2812 करोड़ की परियोजना

    सीपीआरओ उदासी के अनुसार, एमआरवीसी केसीएमडी रवि अग्रवाल के मार्गदर्शन में पनवेल-कर्जत लोकल कॉरिडोर का काम तेजी से शुरू हो गया है। बताया गया कि दिसंबर 2024 तक काम पूरा करने का टार्गेट निर्धारित है। मार्च 2025 से लोकल सेवा शुरू हो सकती है। 2812 करोड़ की इस परियोजना के तहत 29.6 किमी के मार्ग में 2 फ्लाईओवर, 3 टनेल और 44 छोटे बड़े ब्रिज होंगे।  इसके अलावा 21 आरओबी,आरयुबी और एफओबी बनाए जाएंगे।

    पांच स्टेशन होंगे

    पनवेल से कर्जत के बीच पनवेल, चिखले, मोहापे, चौक और कर्जत ये 5 स्टेशन बनाए जाएंगे। इस मार्ग पर 3 टनेल होंगे, जबकि सबसे लंबा ब्रिज 2.5 किमी का होगा। यह बहुउद्देशीय रेल कॉरिडोर रायगड जिले के पनवेल, खालापुर और कर्जत इन तीन तालुकों को जोड़ेगा। उल्लेखनीय है कि पनवेल से कर्जत सिंगल ट्रैक है, जिसका उपयोग लंबी दूरी ट्रेनों अथवा मालगाड़ी के लिए होता है। कर्जत या पनवेल जाने के लिए लोकल यात्रियों को ठाणे या कुर्ला से होकर जाना होता है। सड़क मार्ग से दोनों स्थानों पर जाने के लिए काफी समय लगता है। पनवेल से कर्जत सीधी लोकल शुरू होने पर लाखों लोगों को इसका लाभ होगा।

    दिसंबर 2016 में मिली मंजुरी

    वैसे एमयूटीपी-3 को दिसंबर 2016 में ही मंजुरी मिली थी। इसके तहत कलवा से ऐरोली एलिवेटेड मार्ग, विरार से डहाणू ट्रैक का चौपदरीकरण सहित पनवेल से कर्जत डबल ट्रैक का काम शामिल था। नए बजट में एमआरवीसी को 575 करोड़ आवंटित किए गए हैं। मध्य रेल पर नेरुल-खारकोपर-उरण इस चौथे लोकल कॉरिडोर को अगले साल तक खोलने का लक्ष्य है।