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    मुंबई/पुणे: महाराष्ट्र विधानसभा की दो सीटों पर हो रहे उपचुनाव में महाविकास आघाडी (Mahavikas Aghadi) ने बीजेपी (‍BJP) को वॉकओवर (No Walkover ) नहीं देने का मन बनाया है। ठाकरे गुट के प्रवक्ता संजय राउत ने साफ़ तौर से कहा है कि ये चुनाव निर्विरोध नहीं होंगे।

    उन्होंने कहा कि इस संबंध में हमारी आघाडी के सहयोगी दलों से चर्चा हुई है। सभी सहयोगी दलों का मानना है कि चुनाव लड़ने में कोई दिक्कत नहीं है। बुधवार को पूर्व सीएम उद्धव ठाकरे ने पार्टी के बाकी नेताओं के साथ शिवसेना भवन में चर्चा की। 

    मुलाकातों का दौर जारी

    इससे पहले मंगलवार की शाम एनसीपी के सीनियर नेता अजीत पवार और प्रदेश अध्यक्ष जयंत पाटिल ने मातोश्री जाकर उद्धव से मुलाक़ात की थी। संजय राउत ने कहा कि महाराष्ट्र की परंपरा है कि यदि किसी विधायक का निधन हो जाता है तो उस सीट के उम्मीदवार को निर्विरोध चुन लिया जाना चाहिए, लेकिन अंधेरी(पूर्व) का चुनाव निर्विरोध नहीं था। संजय राउत ने कहा कि इस सीट के लिए बीजेपी ने अपने उम्मीदवार खड़े किए थे, लेकिन जब उन्हें लगा कि वे हारने वाले हैं तो उम्मीदवार के नाम को वापस ले लिया गया।

    सीएम एकनाथ शिंदे ने दिया परंपरा का हवाला

    मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने कहा कि महाराष्ट्र की यह परम्परा रही है कि जिस सीट से मौजूदा विधायक का निधन हो जाता है, वहां चुनाव निर्विरोध होते हैं। उन्होंने कहा कि इस परंपरा को कायम रखा जाना चाहिए।

    आघाडी नेताओं से करेंगे बात: पाटिल

    पूर्व बीजेपी अध्यक्ष और कैबिनेट मंत्री चंद्रकांत पाटिल ने पिंपरी में कहा कि इन उपचुनाव को निर्विरोध कराने के लिए वे आघाडी नेताओं से बात करेंगे। उन्होंने कहा कि इस उपचुनाव के लिए  उम्मीदवारों के नाम की घोषणा पार्टी आलाकमान से चर्चा करने के बाद की जाएगी। बीजेपी विधायक महेश लांडगे को इस चुनाव को निर्विरोध कराने की जिम्मेदारी दी गई है। प्लान बी के तहत अगर आघाडी नहीं मानती है तो बीजेपी इस चुनाव में पूरी ताकत के साथ उतरने की तैयारी में भी जुटी है। जिसके लिए उम्मीदवारों के नाम पर मंथन शुरू हो गया हैं।   

    आघाडी में चुनाव लड़ने को लेकर मतभेद

    उधर, इन उपचुनाव में अपने उम्मीदवार खड़ा करने को लेकर आघाडी की सहयोगी दलों में मतभेद की खबर हैं। ऐसी रिपोर्ट है कि चिंचवड सीट पर एनसीपी के बाद उद्धव ठाकरे की सेना ने भी अपना दावा ठोका है। ठाकरे गुट के प्रवक्ता संजय राउत ने कहा कि चिंचवड सीट पर हम चुनाव लड़ना चाहते हैं। वहीं दूसरी ओर एनसीपी की ओर से अजीत पवार अपने उम्मीदवार को खड़ा करना चाहते हैं। यह इलाका पवार का गढ़ है। यही वजह है कि वे इस सीट पर अपना दावा ठोक रहे हैं। ऐसे में यह देखना दिलचस्प होगा कि आघाडी के अंदर इन सीटों पर चुनाव लड़ने के लिए क्या समझौता होता है।

    इन विधायकों के निधन से सीट खाली   

    पुणे के चिंचवड सीट से बीजेपी विधायक लक्ष्मण जगताप और कसबा पेठ से मुक्ता तिलक के निधन के बाद ये दोनों सीट खाली हो गई हैं। जिसके बाद केंद्रीय चुनाव आयोग ने दोनों सीटों पर उपचुनाव की घोषणा की है।

    चुनाव की तारीख बदली

    केंद्रीय चुनाव आयोग ने कस्बा और चिंचवड विधानसभा के सीटों के लिए हो रहे उपचुनाव के लिए मतदान की तारीख में बदलाव किया है। अब 27 फरवरी की जगह एक दिन पहले 26 फरवरी को वोटिंग होगी। वहीं, परिणाम की घोषणा 2 मार्च को जाएगी। दरअसल 27 फरवरी को इन चुनाव क्षेत्रों में 12वीं परीक्षा आयोजित की गई है। इसके मद्देनजर मतदान की तारीख को बदल दिया गया है।