निजी सलाहकार नहीं, बीएमसी के अनुभवी इंजीनियरों की मदद ले बीएमसी

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    मुंबई:  मुंबई (Mumbai) में चल रही विभिन्न परियोजनाओं और योजनाओं के लिए बीएमसी (BMC) बाहरी सलाहकार पर करोड़ों रुपए खर्च करती है। बीएमसी को निजी सलाहकारों पर पैसे खर्च करने के बदले बीएमसी में काम कर रहे वरिष्ठ और अनुभवी इंजीनियरों (Experienced Engineers) और अधिकारियों से सलाह (Advice) लेनी चाहिए। बीएमसी अधिकारियों से ही सलाह लेकर नागरिकों को बुनियादी सुविधाएं वाले प्रोजेक्ट (Project) बनाए जाने चाहिए।  वास्तुकला समिति के अध्यक्ष और नगरसेवक दत्ता पोंगडे ने बीएमसी आमसभा में एक प्रस्ताव पेश कर यह मांग की है।

    बीएमसी नागरिकों को बुनियादी सेवाएं प्रदान करने और मुंबई शहर के विकास के लिए विभिन्न परियोजनाओं और योजनाओं को लागू करता है। ऐसी परियोजनाओं और योजनाओं के कार्यान्वयन के लिए बीएमसी परामर्श सेवाएं प्रदान करने के लिए निजी सलाहकारों की नियुक्ति करता है। उनके द्वारा प्रदान की जाने वाली परामर्श सेवाओं के माध्यम से कार्य करता है। ऐसे सलाहकार कार्यालय में उपलब्ध अभिलेखों में दस्तावेजों, आंकड़ों आदि के आधार पर ही रिपोर्ट तैयार कर रहे हैं। 

    करोड़ों रुपए बर्बाद हो जाते हैं

    नतीजतन, इस तरह की रिपोर्टों से नागरिक और विकास कार्यों पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ने की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता है। साथ ही बीएमसी की परियोजनाओं/योजनाओं में इस तरह की रिपोर्टों का उतना उपयोग नहीं किया जाता, जितना होना चाहिए। बीएमसी परामर्श सेवाओं के लिए निजी सलाहकारों पर खर्च किए गए करोड़ों रुपए बर्बाद हो जाते हैं, इसलिए बीएमसी के इंजीनियरों की मदद ली जानी चाहिए। ऐसा प्रस्ताव नगरसेवक दत्ता पोंगडे ने बीएमसी आमसभा में रखा है।