
मुंबई. पीएचडी (PhD) और एमफिल (M.Phil) में प्रवेश के लिए ली जाने वाली पेट परीक्षा अब साल में दो बार होगी। मुंबई यूनिवर्सिटी (Mumbai University ) के बजट अधिवेशन में प्र-कुलपति रवींद्र कुलकर्णी ने उक्त घोषणा की है। मुंबई यूनिवर्सिटी के इस निर्णय से विद्यार्थियों (Students) को बड़ी राहत मिली है। कोरोना के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए सीनेट की ऑनलाइन बैठक (Online Meeting) हुई है। कुलपति डॉ. सुहास पेडणेकर की तबियत ठीक न होने के वे इस बैठक में अनुपस्थित रहे।
प्र-कुलपति रवींद्र कुलकर्णी की अध्यक्षता में अधिवेशन का कार्य शुरू हुआ। वर्ष में 3 बार पेट परीक्षा के आयोजन को लेकर पिछले कई सालों से मांग हो रही है।
विद्यार्थियों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा
इस बार कोरोना महामारी के कारण कई बार परीक्षा टली जिसके चलते विद्यार्थियों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा। आखिरकार मुंबई यूनिवर्सिटी ने वर्ष में दो पेट परीक्षा लेने की घोषणा की है। इसके अलावा सीनेट यस बैंक के मुद्दे पर भी यूनिवर्सिटी प्रशासन को आड़े हाथ लिया। दरअसल मुंबई यूनिवर्सिटी ने 140 करोड़ रुपए बिना सीनेट को बताए सरकारी बैंक के बजाए यस बैंक में जमा कर दिए थे। एमयू ने बताया कि उन्होंने यह पैसे निकाल कर सरकारी बैंक में जमा कर दिए है। इसी के साथ मामले की जांच के लिए समिति का गठन भी किया गया है।