- 1,399 करोड़ अन्य पर होगा खर्च
- 364 करोड़ के हो चुके है वर्क ऑर्डर
नागपुर. मनपा आयुक्त की ओर से बुधवार को वित्तीय वर्ष 2021-22 के लिए भले ही 2,608 करोड़ का बजट प्रस्तावित किया हो लेकिन इसमें अमृत योजना, नाग नदी, सीमेंट रोड, स्ट्रीट लाइट जैसी विकास योजनाओं के लिए केवल 1,209 करोड़ का ही प्रावधान किया है. जिससे 1,399 करोड़ प्रशासकीय और अन्य कार्यों पर खर्च होंगे. इसमें भी गत वित्तीय वर्ष में 364 करोड़ के विकास कार्यों को पहले ही मंजूरी दी गई है. यहां तक कि कार्यादेश भी जारी हो चुका है.
अत: इसे दायित्व समझकर इस वित्तीय वर्ष में इन्हें पूरा करने का मानस जताया गया है. गत वर्ष के आम बजट की तुलना में आयुक्त के बजट में बाजार विभाग से 13.19 करोड़ की आय होने की आशा जताई गई है. जबकि आम बजट में 14.75 करोड़ की आय होने की आशा जताई गई थी. इसी तरह स्थावर विभाग के माध्यम से केवल 6.71 करोड़ की इस वर्ष आय होने की संभावना जताई गई है. जबकि गत वित्तीय वर्ष के आम बजट में 12.05 करोड़ का लक्ष्य निर्धारित किया गया था.
सत्तापक्ष के साथ अभी से टसल
उल्लेखनीय है कि तत्कालीन सभापति ने उनके कार्यकाल में विकास कार्यों को लगाम लगाए जाने के लिए प्रशासन को आड़े हाथों लिया था. यहां तक कि सर्वाधिक नुकसान नगर रचना विभाग से होने का खुलासा किया था. वर्तमान स्थायी समिति सभापति प्रकाश भोयर ने भी हाल ही में कहा था कि नगर रचना विभाग से कम से कम 400 करोड़ की आय होनी चाहिए किंतु बुधवार को मनपा आयुक्त द्वारा वित्तीय वर्ष 2021-22 में नगर रचना विभाग के माध्यम से केवल 103.63 करोड़ की ही आय होने की आशा जताई गई है. स्थायी समिति के लक्ष्य से कोसों दूर आयुक्त का लक्ष्य होने से अभी से सत्तापक्ष के साथ टसल होने के संकेत दिए जा रहे हैं.
75 नागरी स्वास्थ्य केंद्रों के लिए 3 करोड़
महापौर दयाशंकर तिवारी के महत्वाकांक्षी प्रकल्प 75 नागरी स्वास्थ्य केंद्रों के लिए मनपा आयुक्त ने बजट में 3 करोड़ का प्रावधान किया है. राष्ट्रीय नागरी स्वास्थ्य अभियान अंतर्गत मिनी मातानगर और नारा नागरी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों के लिए भी बजट में 5-5 करोड़ का प्रावधान किया गया है. उल्लेखनीय है कि हाल ही में महापौर ने पीएम आवास योजना अंतर्गत केंद्र सरकार की तर्ज पर ही मनपा द्वारा 50,000 रु. की छूट देने की घोषणा की थी. मनपा आयुक्त की ओर से इसके लिए भी बजट में प्रावधान किया गया.
इस तरह योजनाओं पर होगा खर्च
- जलप्रदाय अंतर्गत 24 बाय 7 योजना के लिए 78 करोड़ रु. खर्च करने का प्रस्ताव रखा गया है. जिसके लिए टेंडर बुलाकर काम करने का मानस जताया गया.
- इसी तरह अमृत योजना अंतर्गत जलापूर्ति के लिए होनेवाले कार्यों पर 72.50 करोड़ का खर्च होने की संभावना है.
- शहर के भीतर से जा रहे नालों के किनारे के बगीचों के लिए नालों पर मिनी एसटीपी लगाकर बगीचों के लिए पानी का उपयोग होगा. जिसके लिए 1.21 करोड़ का खर्च प्रस्तावित किया गया.
- सीमेंट रोड प्रकल्प के चरण-2 के लिए सरकार और प्रन्यास की ओर से 200 करोड़ रु. प्राप्त है. जबकि बचे निधि का बोझ मनपा को वहन करना है. प्रकल्प पर अब तक 225 करोड़ रु. खर्च हुआ है. जून 2021 तक दूसरा चरण पूरा करने का मानस है.
- चरण-3 के लिए सरकार और प्रन्यास से केवल 125 करोड़ प्राप्त हुए हैं. जिससे इस चरण में बचे कार्यों को पूरा करने के लिए बैंक से कर्ज भी लिया जाएगा. इस चरण में अब तक 100 करोड़ खर्च किया जा चुका है.
बजट में माल, संकुल, केंद्रों की पुरानी योजनाएं भी शामिल
उल्लेखनीय है कि गत अनेक वर्षों से न केवल मनपा आयुक्त प्रस्तावित बजट में कई योजनाओं का उल्लेख किया जा रहा है, बल्कि स्थायी समिति सभापति द्वारा दिए जानेवाले प्रत्येक आम बजट में भी कई योजनाओं को लगातार शामिल किया जा रहा है. किंतु कई वर्ष बीत जाने के बाद भी इन योजनाओं को अंतिम रूप नहीं दिया जा सका है. अब पुन: मनपा आयुक्त के बजट में इन योजनाओं का उल्लेख किया गया.
- महल स्थित बुधवार बाजार में व्यापारिक संकुल का निर्माण
- सक्करदरा बुधवार बाजार में शॉपिंग मॉल का निर्माण
- सोख्ता भवन और कमाल चौक बाजार की जमीन पर अत्याधुनिक व्यापारिक संकुल.
- बालासाहब ठाकरे स्मृति शैक्षणिक, कला, क्रीड़ा व सांस्कृतिक केंद्र का निर्माण
- गांधीसागर तालाब का सक्षमीकरण और सौंदर्यीकरण.
- मेट्रो मॉल का निर्माण
- शंकर नगर में जीजाऊ स्मृति शोध संस्थान के लिए 7.42 करोड़
- छात्रों को टैबलेट देकर एप से अध्ययन के लिए 3.5 करोड़
- हर विधानसभा क्षेत्र में अंग्रेजी माध्यम की स्कूल के लिए 5 करोड़
थीम बेस पार्क
- रोज गार्डन
- तितली उद्यान
- फ्रेगरेंस पार्क
- एडवेंचर पार्क
- मियावाकी उद्यान
अग्निशमन विभाग होगा सक्षम
- अग्निशमन विभाग को सक्षम बनाने की दिशा में 32 मीटर ऊंची हाइड्रोलिक प्लेटफार्म खरीदा जाएगा.
- शहर के बढ़ते दायरे को देखते हुए अग्निशमन केंद्रों का निर्माण होगा.
- पुराने अग्निशमन केंद्रों के पुनर्निर्माण के लिए 5 करोड़ खर्च किए जाएंगे.
- फायर टेंडर (वाहन) व इमरजेंसी टेंडर (वाहन) खरीदने के लिए 17.90 करोड़ का प्रावधान किया गया है.