Nitin-Gadkari
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    नागपुर. केन्द्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि कृषि क्षेत्र में रिसर्च करने वाले सरकारी संस्थान व रिसर्च करने वाले किसानों का उत्पादन बढ़ाने के लिए दुनिया की सर्वोत्तम तकनीक उन्हें उपलब्ध करवाएं. तकनीक समाज के अंतिम व्यक्ति तक पहुंचाने की जवाबदारी लें जिससे किसानों का उत्पादन व क्वालिटी बढ़ेगी, उत्पादन खर्च कम होगा, निर्यात भी बढ़ेगा. वे आईसीएआर के नींबू वर्गीय अनुसंधान संस्थान की ओर से रोगमुक्त नींबू वर्गीय पौधों के निर्माण विषय पर आयोजित कार्यशाला के उद्घाटन अवसर पर बोल रहे थे. इस दौरान अनुसंस्थान संस्था के डॉ. घोष, डॉ. महापात्रा, सी.डी. मायी व अन्य उपस्थित थे. गडकरी ने कहा कि प्रत्येक प्रदेश की जरूरत के अनुसार रिसर्च की जरूरत है.

    विदर्भ में गन्ने की संस्कृति नहीं है लेकिन हमने हिम्मत कर शक्कर कारखाना शुरू किया. आज नुकसान से बाहर आ गए हैं. रिसर्च आज की जरूरत है. उत्पादन की क्वालिटी से कोई समझौता नहीं करते हुए नर्सरी नींबू वर्गीय रोप तैयार करें. नींबू, संतरा, मौसंबी के कलम तैयार होने चाहिए और उपज अंतरराष्ट्रीय दर्जा से बराबरी करने वाले हों. तभी किसानों को फायदा होगा. 

    ग्राहकों की पसंद का संतरा

    गडकरी ने कहा कि हमारे यहां का संतरा अच्छा है लेकिन ग्राहकों की पसंद का संतरा बाजार में लाया जाएगा. नर्सरी की जांच करें, पंजीयन करें, रोप की जांच करें, क्लाविटी जांच करें. निर्यात के लिए गलने वाली क्वालिटी के रोप तैयार करने का प्रयास करें. यह सारी जिम्मेदारी हमारी है. अमरावती, वर्धा, नागपुर जिले में संतरा उत्पादक अधिक है. नर्सरी में अच्छे रोप तैयार किये तो किसानों को अच्छा कलम उपलब्ध होगा. वातावरण के बदलाव का भी नींबू वर्गीय झाड़ पर विपरीत परिणाम नहीं हो, इस पर भी रिसर्च करने की बात उन्होंने कही.