महावितरण कॉल सेंटर कर्मियों की बची नौकरी, बावनकुले के हस्तक्षेप पर फिलहाल ‘जैसे थे’

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    नागपुर. ऐन दशहरा-दिवाली के पहले महावितरण द्वारा राज्यभर के अपने कॉल सेंटरों का कॉन्ट्रैक्ट बदल दिए जाने के चलते नागपुर गांधीबाग कॉल सेंटर में कार्यरत 24 कर्मचारियों की नौकरी चली गई थी. 27 सितंबर को यहां के कॉल सेंटर के कॉन्ट्रेक्टर मे. के. सन्स ने अपने कर्मचारियों को नोटिस जारी कर 1 अक्टूबर से नौकरी पर नहीं आने को कहा था. अचानक नौकरी से आउट कर दिये जाने सकते में आए कर्मचारियों ने डीसीएम देवेन्द्र फडणवीस से मुलाकात कर न्याय मांगने की तैयारी की थी लेकिन पूर्व ऊर्जा मंत्री व भाजपा प्रदेशाध्यक्ष चंद्रशेखर बावनकुले ने प्रकाशित खबर का संज्ञान लेकर हालात जानने के लिए बुलाया.

    महावितरण के एसई अमित परांजपे से वस्तुस्थिति जानने के बाद उन्होंने सीधे मुंबई प्रकाशगढ़ ऑपरेशन हेड संजय ताकसांडे से फोन पर चर्चा की. गांधीबाग कॉल सेंटर के सभी कर्मचारियों को कंटिन्यू रखने को कहा. उसके बाद मुंबई मुख्यालय के निर्देश पर गांधीबाग कार्यकारी अभियंता ने सभी कर्मचारियों को फिलहाल कन्टिन्यू करने की सूचना दी. इससे कर्मचारियों को राहत मिली है और उन्हें उम्मीद है कि नये कॉन्ट्रैक्टर के पास उन्हें बहला रखा जाएगा.

    2 महीने पहले क्यों नहीं किया सूचित

    जानकारी के अनुसार बावनकुले ने एसई पर सवाल दागा कि जब 1-2 महीने पहले ही कॉल सेंटर का कॉन्ट्रैक्ट बदलने की सूचना थी तो यहां के स्थानीय वेंडर और कर्मचारियों को इसकी सूचना तब क्यों नहीं दी गई. इसका किसी के पास जवाब नहीं था. मुंबई ऑपरेशन हेड के चर्चा के बाद वहां से एसई और उसके बाद दोपहर को गांधीबाग ईई को कर्मचारियों को बहाल रखने के निर्देश आए.

    ईई गांधीबाग ने तब वेंडर मे.के. सन्स को इसकी सूचना दी और वेंडर ने अपने 24 कर्मचारियों को काम पर आने की सूचना दी. कर्मचारियों ने बावनकुले का आभार माना है साथ ही निवेदन दिया है कि उन्हें नये कॉन्ट्रेक्टर के कॉल सेंटर में स्थानांन्तरित किया जाए.