नए वर्ष में गड्ढा मुक्त होगा ग्रामीण क्षेत्र: मंत्री दादा भुसे

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    नासिक : नासिक शहर (Nashik City) के रास्तों के बारे में केवल शहर के नागरिकों की शिकायत कायम आने से नासिक महानगरपालिका प्रशासन (Nashik Municipal Administration) इस मुद्दे पर एक बार बैठक घेतली ली जाएगी, ऐसी जानकारी नासिक जिले के पालक मंत्री दादा भुसे (Guardian Minister Dada Bhuse) ने दी है। भुसे ने कहा कि नासिक जिले की ग्रामीण क्षेत्रों (Rural Areas) की सड़कें (Roads) नए वर्ष में गड्ढा (Potholes) मुक्त हो जाएंगी। नासिक शहर में सड़कों को लेकर हालांकि शहर के नागरिकों की शिकायत जारी रहने के कारण एक बार फिर नासिक महानगरपालिका की बैठक होगी। यह जानकारी पालक मंत्री दादा भुसे ने दी। 

    जिला अधिकारी कार्यालय में सांसद हेमंत गोडसे की उपस्थिति में कृषि, विद्युत और निर्माण विभाग की समीक्षा बैठक के बाद पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे। भुसे ने कहा कि 15 दिसंबर तक ग्रामीण क्षेत्रों के सभी गड्ढों को निर्माण विभाग के इंजीनियरों द्वारा भर दिया जाएगा, लिहाजा जिले के सभी नए ब्लैक स्पॉट को 31 दिसंबर तक दुरुस्त कर लिया जाएगा। इसलिए अगले नववर्ष 2023 में ग्रामीण निर्माण विभाग के अधिकार क्षेत्र में आने वाली सड़क की खस्ता हालत हमें देखने को नहीं मिलेगी। भुसे ने कहा कि नासिक महानगरपालिका के अधिकार क्षेत्र में आने वाली सिटी रोड के संबंध में शिकायत हमेशा आती रहती हैं, इसलिए शहर में सड़कों की समस्या की समीक्षा की जाएगी। भुसे ने यह भी बताया कि महानगरपालिका कमिश्नर से एक बार फिर बात कर शहर की सड़कों की समस्या का समाधान किया जाएगा। 

    भुसे ने कहा कि जिन ठेकेदारों ने सड़क का काम किया है, वे अगले तीन वर्ष तक सड़क के रखरखाव और मरम्मत की जिम्मेदारी लेंगे, इसलिए पिछले तीन वर्षों में जिले में निर्माण विभाग की ओर से किए गए कार्यों की समीक्षा कर अगली बैठक में यह जानकारी दी जाए कि संबंधित ठेकेदारों के पैसे से सभी जर्जर सड़कों की मरम्मत की गई है या नहीं, जिस ठेकेदार ने सड़क का काम किया है, उससे संपर्क करके सड़क की स्थिति का पता लगाया जाएगा। भुसे ने कहा कि ठेकेदार की यह जिम्मेदारी होगी कि वे तीन वर्ष तक उसे खराव नहीं होने देंगे। उन्होने कहा कि ब्लैक स्पॉट की मरम्मत के लिए कोई फंड नहीं है, इसलिए ब्लैक स्पॉट ज्यों का त्यों बना रहता है और वहां किसी की मौत नहीं होनी चाहिए, इसका ध्यान रखा जाना चाहिए। पालक मंत्री ने कहा कि इंजीनियरों को सड़क की गुणवत्ता पर ध्यान देने के साथ-साथ यह भी जांचे कि सड़क निर्माण कार्य के लिए उपयोग में लाई गई सामग्री, डामर सभी अधिकृत कंपनियों से लाई गई हैं या नहीं, उसके बाद विधेयक को मंजूरी दी जानी चाहिए। 

    पालक मंत्री के निर्देश

    • ठेकेदारों से तीन वर्ष तक कार्यों के रखरखाव की लागत
    • क्या उन्हें अधिकृत कंपनियों से सड़कों के लिए डामर मिलता है?
    • नए वर्ष में ग्रामीण क्षेत्रों में गड्ढे, ब्लैक स्पॉट मुक्त
    • धन के अभाव में ब्लैक स्पॉट पर किसी की मृत्यु नहीं होनी चाहिए