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    पुणे: सेना (Army) के पुणे मुख्यालय वाली दक्षिणी कमान की सैन्य खुफिया इकाई के साथ एक संयुक्त अभियान में सतारा पुलिस (Satara Police) ने एक 31 वर्षीय व्यक्ति को भारतीय सेना (Indian Army) के सिपाही के रूप में गिरफ्तार (Arrested) किया है। जिस पर कथित तौर पर उन्हें डिफेंस में नौकरियां दिलाने के नाम पर कई युवाओं को धोखा देने का भी आरोप है।

    संदिग्ध की पहचान प्रवीण शिवाजी मार्गाजे के रूप में हुई है, जो सतारा जिले के खंडाला तालुका का निवासी है। जांचकर्ताओं ने उसके पास से एक नकली सेना की वर्दी और पैराफरनेलिया, पहचान पत्र सहित जाली प्रमाण पत्र बरामद किए हैं। उन्होंने बैंक पासबुक भी बरामद की, जिसमें उसकी पहचान सेना के एक जवान के रूप में हुई, चार सेल फोन, कई सिम कार्ड और कुछ दस्तावेज जो इशारा करते हैं कि उसने कई युवाओं से रक्षा नौकरी देने के बहाने पैसे लिए। 

    ठगी से 1 करोड़ से ज्यादा की कमाई का शक 

    डिफेंस में नौकरियों के बहाने युवाओं को धोखा देने के आरोप में उसके खिलाफ सतारा जिले में तीन अलग-अलग अपराध दर्ज किए गए हैं। जांचकर्ताओं का मानना है कि मार्गाजे ने सतारा के मान और खटाव तालुका में ऐसे उम्मीदवारों या उनके माता-पिता से 1 करोड़ रुपए से अधिक की कमाई की है। यह भी जाना जाता है कि संदिग्ध ने उन क्षेत्रों का दौरा किया है जहां सैन्य प्रतिष्ठान स्थित हैं और कहा जाता है कि उसने सेवारत कर्मियों के साथ संपर्क स्थापित करने का प्रयास किया था। अधिकारियों ने कहा कि वह भारतीय सेना के आयुध कोर के नाइक रैंक के एक सैनिक के रूप में अपनी पहचान बना रखी थी।

    पुलिस में करें रिपोर्ट

    सतारा जिले के पुलिस अधीक्षक अजय कुमार बंसल ने लोगों से अपील की है कि वे आगे आएं और पुलिस को रिपोर्ट करें कि क्या इस व्यक्ति ने डिफेंस में नौकरियों का वादा करके धोखा दिया है।

    ऐसे मामले सेना संस्थानो के लिए गंभीर खतरा 

    सैन्य खुफिया से इनपुट के बाद पुलिस द्वारा सेना के कर्मियों के रूप में पेश होने के कई मामलों का खुलासा किया गया है। अकेले अहमदनगर जिले में 2018 से अब तक चार ऐसे मामले सामने आए हैं, जिनमें सेना के अधिकारी या जवान होने का दिखावा करने वालों को गिरफ्तार किया गया है। अधिकारियों ने कहा कि अहमदनगर में कई प्रमुख रक्षा प्रतिष्ठानों की मौजूदगी है और ऐसे मामले उनकी सुरक्षा के लिए गंभीर खतरा पैदा करते हैं।

    सैन्य स्टेशनों के आसपास में रहना पसन्दीदा जगह 

    एक अधिकारी ने कहा कि सेना के जवानों के रूप में प्रतिरूपण के सभी मामलों में, संदिग्धों का मकसद सिर्फ सेना के अधिकारियों का फायदा उठाकर डिफेंस में नौकरी के लिए इच्छुक युवाओं को धोखा देना है।  देखा गया है कि ये संदिग्ध सैन्य स्टेशनों के आसपास के क्षेत्रों में मौजूद रहना पसंद करते हैं, जहां वर्दी में लोगों की आवाजाही एक आम बात है।