पाटस: कर्नाटक (Karnataka) की जनता ने विधानसभा चुनाव में बीजेपी (BJP) के बड़े-बड़े मंत्रियों को घर भेज दिया है। महाराष्ट्र (Maharashtra) की जनता भी आगामी लोकसभा और विधानसभा चुनाव में 50 खोके वाली सरकार के लिए सही कार्यक्रम चलाने की अपील बारामती संसदीय सीट की सांसद सुप्रिया सुले ने की है। बारामती लोकसभा क्षेत्र की सांसद सुप्रिया सुले (MP Supriya Sule) 22 मई को दौंड के दौरे पर थी। इस दौरान उन्होंने गांव का दौरा किया और किसानों और नागरिकों से बातचीत की।
इस अवसर पर उपस्थित नागरिकों से बात करते हुए सांसद सुप्रिया सुले ने कहा कि कर्नाटक में कांग्रेस की सरकार बहुमत से आई है, जिसे वहां की जनता ने एक साल से तय कर लिया था। कर्नाटक की जनता ने चुनाव के जरिए बीजेपी सरकार को घर बिठा दिया है। उसी तर्ज पर महाराष्ट्र की जनता भी 50 कुटिल और अन्यायी सरकार को घर में बिठा दें। बीजेपी सरकार फिलहाल ईडी और सीबीआई के जरिए विपक्ष के साथ अन्याय कर रही है। अनिल देशमुख के घर पर नौ बार छापेमारी हुई। जयंत पाटिल को भी ईडी ने नोटिस थमा दिया, लेकिन बीजेपी के मंत्री विधायकों को कुछ नहीं कर रहे, बीजेपी के लोग बातें कर रहे हैं, हम चैन से सोते हैं, क्योंकि हम बीजेपी में हैं।
आपल्या बारामती लोकसभा मतदारसंघातील गार (जुनी) ता. दौंड येथे गावभेट उपक्रमाअंतर्गत भेट देऊन ग्रामस्थांशी संवाद साधला. याप्रसंगी माजी आमदार रमेशआप्पा थोरात, राष्ट्रवादी महिला काँग्रेसच्या विभागीय अध्यक्षा वैशाली नागवडे, राष्ट्रवादी काँग्रेसचे दाैंड तालुका अध्यक्ष आप्पासाहेब पवार,… pic.twitter.com/n6mI3Y0F9Z
— Supriya Sule (@supriya_sule) May 22, 2023
बंद करना था तो क्यों लाए 2000 रुपए के नोट
सुले ने आलोचना की कि यह ईडी और सीबीआई की सरकार है। उन्होंने केंद्र सरकार की आलोचना करते हुए सवाल किया कि अगर वे इसे बंद करना चाहते थे तो वे 2000 रुपए के नोट क्यों लाए। भ्रष्टाचार कम करने के लिए 2000 रुपए के नोट छापे गए और अब नोट बहुत ज्यादा हो गए हैं इसलिए इन्हें बंद कर दिया गया है। सात साल में कहां गए दो हजार के नोट? उन नोटों को 50 बक्सों में इस्तेमाल किया जाता है? इन शब्दों में सांसद सुले ने नोटबंदी से बीजेपी सरकार को आड़े हाथों लिया है।
बीजेपी आरक्षण के खिलाफ
साल 2014 में बीजेपी सरकार ने धनगर समुदाय को आरक्षण देने के मुद्दे पर आग लगा दी थी, खुद देवेंद्र फडणवीस ने पहली ही कैबिनेट में धनगर समुदाय को आरक्षण देने का वादा किया था। क्या हुआ उस आरक्षण के बाद क्या धनगर समाज को आरक्षण मिला? मूल रूप से बीजेपी आरक्षण के खिलाफ है।
लोकसभा और विधानसभा की चुनाव तैयारी शुरु करें कार्यकर्ता
बीजेपी में दो गुट हैं एक गुट आरक्षण चाहता है और दूसरा गुट आरक्षण का विरोध करता है। सांसद सुले ने आरक्षण को लेकर राज्य सरकार की आलोचना की। सांसद सुले ने कार्यकर्ताओं को कभी भी लोकसभा और विधानसभा चुनाव की तैयारी करने की नसीहत भी दी। इस अवसर पर पूर्व विधायक रमेश थोराट, वैशाली नागवाड़े, रामभाऊ तुले, प्रशांत शितोले, आशा शिटोले, स्वाति गावड़े, नितिन शितोले, शिवाजी धमाले, जुनेद तंबोली, विकास खलडकर आदि बड़ी संख्या में ग्रामीण उपस्थित थे।