Pune Pollution Update
Pune Pollution Pic (ANI) File

    Loading

    पुणे: दिल्ली में और देश के अधिकतर हिस्सों में सर्दी शुरू हो गई है, लेकिन दिल्ली में वायु प्रदूषण (Air Pollution) के कारण दिल्ली (Delhi) के नागरिक पहले से ही परेशानी से जूझ रहे हैं। वायु प्रदूषण इतना अधिक है कि अधिकारियों को स्कूलों को बंद करने के लिए मजबूर होना पड़ा है। हाल के दिनों में पुणे में भी उच्च पार्टिकुलेट मैटर (पीएम) के स्तर के संकेत मिल रहे है। वैसे पुणेकर तुलनात्मक रूप से बेहतर स्थिति में हैं, लेकिन यदि तत्काल कदम नहीं उठाए जाते हैं तो दिल्ली जैसी भयावह स्थिति का हमें भी सामना करना पड़ सकता हैं।

    द एनर्जी एंड रिसोर्सेज इंस्टीट्यूट (टीईआरआई) द्वारा सितंबर में जारी एक रिपोर्ट में कहा गया है कि पिछले दो वर्षों में पुणे शहर और जिले में हवा में पीएम 2.5 प्रदूषकों का लगभग 40 प्रतिशत ‘अच्छे’ श्रेणी में था। वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) को छह श्रेणियों में वर्गीकृत किया गया है, बहुत अच्छा, संतोषजनक, मध्यम प्रदूषित, खराब, बहुत खराब और गंभीर। 

    पुणे के वायु प्रदूषण में हो रहा इजाफा 

    रिपोर्ट में कहा गया है कि पुणे में वायु प्रदूषण में बढ़ोतरी हुई है, लेकिन यह अभी भी उस निशान से नीचे है जो कोरोना महामारी की शुरुआत से पहले मौजूद था। टीईआरआई ने पाया है कि सड़क की धूल, निर्माण कार्य और संबंधित क्षेत्रों को मिलाकर 2021 में पुणे में PM10 कण उत्सर्जन का 58 प्रतिशत निर्मित किया। इसमें कार्बन मोनोऑक्साइड (61 प्रतिशत) और नाइट्रस ऑक्साइड (71 प्रतिशत) की मुख्य स्रोत के रुप में पहचान की गई।

    शहर में लगातार बढ़ रही वाहनों की संख्या

    पुणे महानगरपालिका (पीएमसी) की पर्यावरण रिपोर्ट 2021-22 के अनुसार, शहर में वाहनों की संख्या बढ़कर 33,24,582 हो गई है। 2021 में 1,70,115 नए वाहन शहर में शामिल हुए। हालांकि, लगभग 94 प्रतिशत नए वाहन सड़कों पर भारत स्टेज VI (BS-VI) के रूप में हैं। 2021 में, 2020 में 1,450 के मुकाबले 6,219 नए इलेक्ट्रिक वाहन पंजीकृत किए गए।

    प्रदूषण कम करने के लिए पीएमसी की कवायद जारी

    पीएमसी के पर्यावरण विभाग के अधिकारियों के अनुसार, यह महत्वपूर्ण है कि पुणे जैसे शहर जहां अपेक्षाकृत स्वच्छ हवा की गुणवत्ता का आनंद लिया गया हो, वहां वायु प्रदूषण को नियंत्रित करने और इसकी तैयारियों को मजबूत बनाने के लिए संस्थागत व्यवस्था को विकसित करना महत्वपूर्ण और समय की जरुरत बन गई है। यह देश के वायु प्रदूषण संकट की गंभीरता को देखते जरुरी है। स्वस्थ वायु शुद्धता किसी भी शहर के आर्थिक ग्रोथ के लिए आवश्यक है। पुणे में वायु प्रदूषण में कमी पीएमसी की प्राथमिकता है और हम 2017 से इस दिशा में काम कर रहे हैं। केंद्रीय पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय ने जनवरी 2019 में राष्ट्रीय स्वच्छ वायु कार्यक्रम (NCAP) की शुरुआत की थी। इसने 2024 तक वायु प्रदूषण में 20-30 प्रतिशत की कमी लाने का लक्ष्य रखा है। NCAP को पूरे 102 शहरों में लागू किया जा रहा है। पुणे सहित देशभर के पीएमसी के पर्यावरण विभाग ने एक योजना तैयार की है, जिसमें वायु प्रदूषण के स्तर, इंटर एजेंसी समन्वय संरचना और कमजोर समूहों सहित स्थानीय समुदायों तक सूचना, शिक्षा और पहुंच के उपायों के लिए एक अलर्ट सिस्टम शामिल है। पीएमसी का मकसद वायु प्रदूषण से संबंधित स्वास्थ्य संबंधी आपात स्थितियों का मुकाबला करने के लिए अपनी तैयारियों को बढ़ाना और शहर में वायु गुणवत्ता में सुधार की दिशा में काम करना है।