ज्यादा बिजली बिल पर बवाल, विधायक मंदा म्हात्रे ने विद्युत अभियंता से की मुलाकात

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नवी मुंबई. लॉकडाउन खुलने के साथ ही बिजली उपभोक्ताओं की मुश्किलों का द्वार भी खुलने लगा है. रोज भेजे जा रहे बिजली बिल इसका सबूत देते हैं. नवी मुंबई के हर इलाके में ऐसे सैकड़ों उपभोक्ता ऐसे हैं, जिनके रेगलुर बिल 1000-1500 की अपेक्षा 15 हजार से अधिक के बिल आए हैं. कई ऐसे उपभोक्ता हैं जिन्हें 30 हजार का बिजली बिल मिला है. जुई नगर के एक उपभोक्ता को 36 हजार का बिल मिला है जिसे लेकर शिकायत की गयी है. एक तरफ जहां नागरिक बिजली बिल माफ करने की मांग कर रहे हैं, वहीं दूसरी ओर बिल कम होना तो दूर कई गुणा ज्यादा बिल आने से नयी मुसीबत पैदा हो गयी है. नागरिकों की इन्हीं शिकायतों को लेकर भाजपा विधायक मंदा म्हात्रे ने विद्युत अभियंता श्यामकांत बोरसे से मुलाकात की और नागरिकों के बिलों में जोड़े गए अतिरिक्त शुल्क, अधिभार कम करते हुए हफ्तों में बिल अदायगी की मांग की.

बिजली बिलों में कुछ भी गलत नहीं-MSEDC

बेजा बिल भेजने के मामले में वाशी मंडल के विद्युत अभियंता श्यामकांत बोरसे कुछ भी बोलने को तैयार नहीं हैं. वे विद्युत विभाग के नोटिफिकेशन देखने की सलाह दे रहे हैं. हालांकि उन्होंने इतना जरूर कहा कि बिजली बिलों में कुछ भी गलती नहीं है. वहीं बिजली विभाग की पीआरओ ममता पांडे ने कहा कि उपभोक्ताओं के लिए विशेष लिंक जारी किए गए हैं जिसके जरिए वे खुद अपने बिल और उपयोग का आकलन कर सकते हैं. उन्होंने कहा कि विद्युत विभाग ने राहत दी है ज्यादा बिल नहीं दिया है.

इसलिए आ रहा है ज्यादा बिल

बता दें कि विद्युत नियामक मंडल एवं राज्य सरकार ने लॉकडाउन में रीडिंग नहीं करने का निर्देश दिया था, इसलिए बिजली विभाग ने बीते दिसंबर, जनवरी एवं फरवरी के एवरेज खपत के आधार पर बिल भेजा. फिलहाल ज्यादा बिल आने के पीछे पहला कारण है. जून की प्रत्यक्ष रीडिंग में खपत ज्यादा दिख रही है. बीते 3 महीने के बिलों में जितने यूनिट का अंतर है उन्हें जून के बिल में शामिल कर भेजा जा रहा है, जिससे बिल अधिक आ रहे हैं. साथ ही एवरेज बिल का हिसाब 3 महीने की कुल यूनिट को जोड़ने के बाद 3 हिस्सों में बांटने के बाद लगाया जा रहा है. जाहिर है जिसका प्रतिमाह 100 यूनिट का खर्च है लेकिन जब 3 माह की रीडिंग जोड़ी जा रही है तब 125 हो जाता है. बता दें कि यूनिट बढ़ने से रेट के स्लैब बदलता जाता है और यही वजह है कि उपभोक्ताओं को बिल अधिक आ रहे हैं.