The administration is careless about the facilities of the citizens, the vehicle runs in Bhiwandi and the dust flies...

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    भिवंडी : प्रतिवर्ष शहरवासियों से टैक्स के रूप में करोड़ों रुपया वसूल करने वाली भिवंडी महानगरपालिका (Bhiwandi Municipal Corporation) नागरिक सुविधाओं की पूर्णतया अनदेखी कर रही है। महानगरपालिका प्रशासन (Municipal Administration) की लापरवाही (Negligence) का आलम यह है कि भिवंडी (Bhiwandi) में चलती है गाड़ी तो उड़ती है धूल की कहावत शत-प्रतिशत चरितार्थ हो रही है। शहर के अधिसंख्य मार्ग गड्ढों, धूल से पटे पड़े हैं जिन पर गुजर रहे लोगों के मुंह, आंख, कान, नाक में मिट्टी कण घुसने से लोग उपचार के लिए मजबूरी झेल रहे हैं। नागरिकों का आरोप है कि  महानगरपालिका प्रशासन सब कुछ जान समझ कर भी आंखें मूंदे हुए हैं। महानगरपालिका प्रशासन की जन विरोधी कार्यप्रणाली की वजह से शहरवासियों में भारी आक्रोश पनप रहा है।

    गौरतलब हो कि महानगरपालिका प्रशासन नागरिकों से प्रतिवर्ष करोड़ों रुपया टैक्स के रूप में वसूल करती है बावजूद नागरिक सुविधाओं पर कोई ख्याल नहीं करती है। भिवंडी की पहचान खराब सड़क, कचरे का अंबार, दूषित पानी की हो गई है। जागरूक लोगों का आरोप है कि महानगरपालिका प्रशासन मूलभूत सुविधाओं के निदान के बजाय लोगों को ठेंगा दिखा रहा है। स्व.राजीव गांधी फ्लाईओवर एवं बालासाहेब ठाकरे फ्लाईओवर के नीचे  खोदे गए गड्ढों और जमा मिट्टी, धूल से लोगों की मुसीबत बढ़ रही है बावजूद महानगरपालिका कमिश्नर सुधाकर देशमुख आंखें मूंदे हुए हैं।  मार्ग पर हुए भारी भरकम गड्ढों की वजह से वाहन मेंटेनेंस भी बढ़ रहा है। महानगरपालिका कमिश्नर देशमुख तो एयरकंडीशन सरकारी गाड़ी में चलते हैं उन्हें गड्ढों, धूल की कोई परवाह ही नहीं है। शहरवासियों को तकलीफ हो तो उनकी बला से।

    नागरिकों की मूलभूत सुविधाओं से विहीन शहर

    पावरलूम नगरी के अधिसंख्य रास्ते गड्ढों में और धूल से पटे पड़े हैं। बारिश के उपरांत भी गड्ढों की भराई नहीं किए जाने से सड़क में गड्ढे या गड्ढों में सड़क पहचान करना मुश्किल हो गई है। गड्ढे, धूल से भरे मार्ग पर आगे जा रही चार पहिया कार के पीछे जाने वाले दुपहिया, पैदल लोगों के मुंह, कान, आंख, नाक में मिट्टी कचरे के कण भर रहे हैं जिससे लोग अनायास ही बीमारियों के चपेट में आ रहे हैं।

    धूल, मिट्टी के कणों से आंख हो रही खराब

    सड़क पर हुए तमाम गड्ढों एवं सड़क पर उड़ती मिट्टी की वजह से लोगों को आंख, नाक, कान की बीमारी घेर रही है। उक्त संदर्भ में नेत्र विशेषज्ञ डॉक्टर हेमाकर शेट्टी और शल्य चिकित्सक डाक्टर सुजीत यादव का कहना है कि मार्ग पर हुए गड्ढों एवं उड़ती मिट्टी के कणों की वजह से आंख की रेटिना पर घातक दुष्प्रभाव हो रहा है। जिससे लोगों की आंख जल्दी खराब हो रही है। गड्ढों की वजह से कमर दर्द की बीमारी बढ़ रही है और नाक, कान में मिट्टी जाने की वजह से स्वशन तंत्र पर बुरा प्रभाव पड़ रहा है।

    महानगरपालिका प्रशासन सो रहा कुंभकर्णी नींद

    बारिश के उपरांत मार्ग पर हुए गड्ढों की भराई को लेकर लोगों में आस जगी थी बावजूद 3 माह बीत जाने के बाद भी गड्ढों की भराई का कोई कार्य नहीं किया गया है। महानगरपालिका क्षेत्र अंतर्गत खदान रोड, वराला देवी रोड, कामतघर, फेना पाड़ा, ताडाली, शांतिनगर, गौरीपाड़ा, आज़मी नगर, ईदगाह रोड, दरगाह रोड, बावला कंपाउंड रोड, मानसरोवर आदि रहिवासी क्षेत्रों में मार्ग पर हुए गड्ढों से लोगों को आवागमन में भारी दिक्कत हो रही है। बारंबार शिकायत के उपरांत भी महानगरपालिका प्रशासन के कान पर कोई जूं नहीं रेंग रही है।   

    महासभा में मंजूरी के बाद होगा मरम्मत कार्य

    उक्त सन्दर्भ में भिवंडी महानगरपालिका शहर अभियंता एलपी गायकवाड़ ने बताया कि महानगरपालिका कमिश्नर सुधाकर देशमुख के निर्देशानुसार सड़क पर हुए गड्ढों की मरम्मत के लिए इस्टीमेट बन गया है। जल्द ही महासभा में मंजूरी के बाद मार्ग पर हुए गड्ढों को भरा जाएगा एवं बेहद खराब हुए मार्ग को नया बनाया जाएगा।