वर्धा. बालविवाह की तैयारी शुरू होने की भनक लगते ही चाइल्ड लाइन व जिला बाल संरक्षण कक्ष के दस्ते ने मौके पर पहुंच कर विवाह रोका. इस अवसर पर दोनों परिवार के सदस्यों को समझाइश दी गई़ जरूरी प्रक्रिया के बाद उक्त बालविवाह रोक दिया गया़ यह मामला शहर के समतानगर में सामने आया.
प्राप्त जानकारी के अनुसार 6 जुलाई को समतानगर में नाबालिग का विवाह रचाया जा रहा है़ यह बात जिला बाल संरक्षण कक्ष व चाइल्ड लाइन को पता चली़ उन्होंने इसकी सूचना वरिष्ठ अधिकारी व पुलिस विभाग को दी़ इसके बाद संबंधित विभाग के दल समतानगर में पहुंचे़ जहां पुलिस टीम व अधिकारियों को देख सभी अवाक रह गए.
बैठक में बताया, बालविवाह करना अपराध है
टीम ने बालिका के परिजन व युवक के परिजनों से बैठक की़ बालविवाह कानूनी जुर्म है, ऐसा बताया गया़ पश्चात समझाईश देकर यह विवाह रोक दिया गया़ उन्हें बाल कल्यान समिति के समक्ष पेश किया गया़ जहां जिला महिला व बाल विकास अधिकारी प्रशांत विधाते व तहसीलदार रमेश कोलपे ने युवती की आयु 18 वर्ष पूर्ण होने के बाद ही विवाह करने की सूचना की गई.
इस कार्रवाई को नायब तहसीलदार बालुताई भागवत, शहर थाने की पीएसआई ज्योति देवकुले, जिला बाल संरक्षण अधिकारी माधुरी भोयर, ग्रामसेवक आर.एम़ चौकसकर, सावंगी मेघे के पुलिस पटेल, जिला बाल संरक्षण कक्ष के अधिकारी व कर्मचारी वैशाली मिस्किन, सचिन वाटगुले, अमर कांबले, चाइल्ड लाइन के पुरुषोत्म कांबले, जयश्री निवल, माधुरी शंभरकर, अमर पाटिल ने अंजाम दिया.