वर्धा. सरकारी नौकरी दिलाने के नाम पर युवक को 7 लाख 50 हजार रुपयों की चपत लगाई़ उक्त मामला हिंगनघाट के संत ज्ञानेश्वर वार्ड में प्रकाश में आया़ प्रकरण में पुलिस ने तीन ठगबाजों के खिलाफ मामला दर्ज कर उनकी तलाश शुरु कर दी है.
बता दें कि, पैसे देकर सरकारी नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी के मामले हमेशा सामने आते है़ं लोग बिना किसी जांच पड़ताल के ऐसे लोगों पर विश्वास करते हैं. इसमें अधिकतम ठगबाज नजदीकी रिश्तेदार ही होते है़ं ऐसा ही एक वाकया हिंगनघाट में सामने आया़ हिंगनघाट के मिलिंद सोसाइटी निवासी प्रमोधन सुरेश भालेराव (35) की मुलाकात सतीश भोयर, अनिता देशमुख व रोष पाटिल से हुई़ इनमें से एक से प्रमोधन की अच्छी जान पहचान थी़ जबकि अन्य दो लोगों से संबंधित व्यक्ति ने प्रमोधन की भेंट करायी.
प्रमोधन की मजबूरी का उठाया फायदा
प्रमोधन को नौकरी की आवश्यकता थी़ उसकी मजबूरी का लाभ उठाकर तीनों ने उसे सरकारी नौकरी दिलाने का आश्वासन दिया़ इसके बदले में रुपये देने होंगे, ऐसा बताया़ तीनों पर विश्वास कर प्रमोधन पैसे देने के लिए तैयार हुआ़ पुलिस सूत्रों के अनुसार वर्ष 2017 में प्रमोधन ने तीनों को थोड़े-थोड़े कर करीब 7 लाख 50 हजार रुपए दिए़ परंतु तब से लेकर अब तक तीनों टालमटोल रवैया अपना रहे थे.
ठगने के बाद फोन बंद
रुपये वापस लौटाने की बात कहने पर तीनों ने प्रमोधन का फोन उठाना बंद कर दिया़ संपूर्ण लेनदेन का व्यवहार संत ज्ञानेश्वर वार्ड परिसर में होने की जानकारी है़ करीब पांच वर्ष से तीनों प्रमोधन भालेराव को टालते आ रहे थे़ नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी होने की बात ध्यान में आने से आखिरकार प्रमोधन भालेराव सीधे हिंगनघाट थाना पहुंचा़ जहां उसने आपबीती पुलिस को बताई़ जांच पड़ताल के बाद पुलिस ने ठगबाज सतीश भोयर, अनिता देशमुख व रोशन पाटील के खिलाफ धोखाधड़ी का मामला दर्ज कर आगे की जांच शुरू कर दी.