वाशिम. राज्य सरकार के मुताबिक एसटी कर्मचारियों को भी 28 प्रश महंगाई भत्ता, वृध्दिगत घर किराया भत्ता, एसटी का सरकार में विलीनीकरण करना समेत अन्य मांगों को लेकर एसटी कर्मचारियों ने गत 5 नवंबर से शुरू हड़ताल गुरुवार को भी जारी रहने से बस यात्री परेशान हो गए है़
एसटी बंद का लाभ निजी वाहनों को मिल रहा है़ कोरोना की पहली लहर में करीब पांच महीने तक एसटी बसेस बंद रही थी़ जिससे महामंडल को आर्थिक नुकसान का सामना करना पड़ा था़ इस दौरान सितंबर 2020 से एसटी दौड़ने लगी थी़ लेकिन इसी दौरान कोरोना की दूसरी लहर आने से मार्च से जून तक फिर एसटी बंद रही़ जुलाई के बाद एसटी बस सेवा शुरू होने के बाद अब करीब करीब नियमित हो गई थी़.
लेकिन अभी फिर एसटी कर्मचारियों ने अपनी विविध मांगों को लेकर गत 5 नवंबर से एसटी कर्मचारियों ने हड़ताल शुरू की है़ इस में जिले के वाशिम, कारंजा, रिसोड व मंगरुलपीर डिपो के पिछले 6 दिनों से एसटी बसेस के पहिए रुक गए है़ दीपावली त्योहार के दौरान ही यह हड़ताल शुरू करने से बसयात्री परेशान हुए है़ गुरुवार 11 नवंबर को भी वाशिम से एक भी एसटी बस नहीं दौड़ने से यात्रियों को बड़ी असुविधा का सामना करना पड़ रहा है़ व उनको मजबूरन निजी परिवहन की ओर जाना पड़ रहा है़ जिले के चारो डिपो के कुल 988 कर्मचारी इस हड़ताल में शामिल हुए है़
निजी वाहनों में भीड़
विगत दिनों से एसटी कर्मचारियों की हड़ताल से जिले के चारो डिपो से एक भी बस नहीं चल रही है़ इस का लाभ निजी वाहनों को मिल रहा है़ वाशिम, रिसोड, मालेगांव, मंगरुलपीर, कारंजा व मानोरा के साथ अन्य गांवों के नागरिकों को निजी परिवहन से यात्रा करना पड़ रहा है़.