Crime

    Loading

    यवतमाल. स्पर्धा परीक्षा की तैयारी कर रही एक दलित समुदाय की युवती को यवतमाल तहसील कार्यालय के आपूर्ती विभाग में कार्यरत विवाहीत आपूर्ती निरिक्षक ने अपने प्रेमजाल में फांसकर उसका साथ लगभग 2 सालों तक यौनशोषण करने का मामला उजागर हुआ है, पिडीता युवती द्वारा विवाह करने का तकाजा लगाने पर इस विवाहीत निरीक्षक, ने अपनी मॉं तथा पत्नी के साथ पिडीता से जाती पर गालीगलौज कर मारपीट की.

    इस घटना के बाद पिडीता ने बिते बुधवार 28 सितंबर को अवधुतवाडी पुलिस थाने में शिकायत करने के बाद 29 सितंबर को आखिरकार संबंधित आपूर्ती निरीक्षक समेत उसकी पत्नी, तथा मॉं के खिलाफ अपराध दर्ज किया गया है. राजेश रमेश शिरभाते 37, ज्योत्सना राजेश शिरभाते 32 तथा शिला रमेश शिरभाते 60 तीनों निवासी आठवडी बाजार यवतमाल का नामजद आरोपीयों में समावेश है.

    पुलिस से मिली जानकारी के मुताबिक राजेश शिरभाते यह स्थानिय तहसील कार्यालय में आपूर्ती विभाग में निरीक्षक के तौर पर कार्यरत है. 2020 में शहर के पिछडावर्गीय बस्ती में रहनेाली और स्पर्धा परीक्षाओं की तैयारी कर रही युवती जब तहसील में काम के लिए आयी थी तब राजेश ने उससे प्रेम की पिंगे बढायी थी.

    इस दौरान राजेश ने खुद को अविवाहीत बताते हुए युवती से निकटता साधी और कम समय में ही उसे प्रेम के जाल में फांस लिया था, इसके बाद राजेश उसे विवाह का लालुच देकर शारिरिक शोषण कर रहा था,सुत्रों के मुताबिक राजेश के इस युवती से प्रेमसंबंधों की जानकारी राजेश के परिवारवालों को भी थी.

    हाल ही में पिडीता युवती को राजेश शिरभाते विवाहीत होने की जानकारी मिली,इसके बाद राजेश युवती का मोबाईल कॉल तक रिसिव नही कर रहा था, जिससे पिडीता 28 सितंबर की सुबह उसके घर पहूमंची गयी, तब राजेश घर में चाय पी रहा था, युवती को देखते ही राजेश घबरा गया इसके बाद पिडीता ने उसे जवाब तलब किया तब राजेश ने उससे मारपीट की इसके समय युवती के हाथ पर कप फोडकर उसे घायल कर दिया जबकी राजेश की मॉं शिता और पत्नी ज्योत्सना ने भी इस विवाद में बीच बचाव न करते हुए उलटे पिडीता को ही अश्लील और जाती पर आधारीत गालीगलौज की.

    जिसके बाद पिडीता ने गुरुवार की दोपहर अवधुतवाडी पुलिस थाने पहूंचकर उनके खिलाफ शिकायत दर्ज की, जिसपर पुलिस ने प्राथमिक जांच के बाद आपूर्ती निरीक्षक राजेश शिरभाते,उसकी पत्नी तथा मॉं के खिलाफ भादंवी की धारा 376,324,तथा अनुसुचित जाती जमात अत्याचार प्रतिबंधक कानून की विभीन्न धाराओं के तहत अपराध दर्ज किया है. इस मामले की जांच थानेदार मनोज केदारे के मार्गदर्शन में एपीआय बिलावर कर रहे है.