योगी सरकार का 100 दिनी एलान, 25 जिलों में खुलेंगे निर्यात दफ्तर

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    -राजेश मिश्र

    लखनऊ: उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) से होने वाले निर्यात (Exports) को और बढ़ाने के लिए अब हर जिले में खास दफ्तर खोले जाएंगे। प्रदेश से होने वाले निर्यात को आने वाले पांच सालों में बढ़ाकर 4.5 लाख करोड़ रुपए तक ले जाने की तैयारी है। वर्तमान में उत्तर प्रदेश देश के पांच सबसे ज्यादा निर्यात करने वाले राज्यों में शामिल है। प्रदेश से पिछले वित्त वर्ष में लगभग 1.5 लाख करोड़ रुपए का निर्यात हुआ था। योगी सरकार 2.0 में जल्दी ही प्रदेश की नई निर्यात नीति लाई जाएगी।

     प्रदेश के नए औद्योगिक विकास मंत्री नंद गोपाल गुप्ता नंदी (Minister Nand Gopal Gupta Nandi) ने विभाग के अधिकारियों के साथ पहली ही बैठक में कहा कि जिलों में निर्यात प्रोत्साहन ब्यूरो के कार्यालय खोलने के प्रस्ताव तैयार किए जाएं। उन्होंने कहा कि अगले 100 दिनों में प्रदेश के विभिन्न जिलों में 25 निर्यात प्रोत्साहन ब्यूरो को कार्यालय खोले जाएंगे। इन कार्यालयों से निर्यातों को स्थानीय स्तर पर ही सभी सुविधाएं मिलने लगेगी। निर्यात के लिए दी जाने वाली सब्सिडी के लिए निर्यातकों को स्थानीय कार्यालय में ही आवेदन करना होगा। माल भाड़े सहित अन्य सभी सुविधाएं भी स्थानीय स्तर पर ही उपलब्ध करायी जाएंगी।

    ऑनलाइन किया जाएगा आवेदन की प्रक्रिया 

    प्रदेश से होने वाले निर्यात की समीक्षा करते हुए औद्योगिक विकास मंत्री नंदी ने कहा कि नई निर्यात नीति में उपादान योजनाओं का सरलीकरण किया जाएगा। इससे आवेदन की प्रक्रिया का सरलीकरण होगा। निर्यातकों को देय उपादन राशि में वृद्धि होगी और इसके आवेदन की प्रक्रिया को ऑनलाइन किया जाएगा। प्रदेश में बनने वाले उत्पादों की विविधता को देखते हुए ज्यादा से ज्यादा उत्पादों को भौगोलिक सूचकांक (जीआई) दिलवाया जाएगा। उत्पादों को जीआई दिलवाने में प्रदेश सरकार पूरी तरह से मदद करेगी। उन्होंने कहा कि प्रदेश से होने वाले निर्यात में बीते पांच सालों में 36 फीसदी की बढ़ोत्तरी हुई है और आने वाले पांच सालों में इसे और बढ़ाया जाएगा। प्रदेश के निर्यातकों को अंतरर्राष्ट्रीय व्पार मेलों में ज्यादा से ज्यादा भाग लेने के लिए जरुरी सुविधाएं दी जाएंगी।