Yogi Adityanath

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    गोरखपुर: लखीमपुर खीरी मामले पर विपक्षी दलों  लगातार उत्तर प्रदेश सरकार और भाजपा पर हमलावर हैं। सभी दल लगतार लखीमपुर में जाकर पीड़ित किसान परिवारों से मुलाकात कर रहे हैं। इसी को लेकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विपक्षी दलों पर हमला बोला है। शुक्रवार को गोरखपुर में आयोजित कार्यक्रम में कहा, “सपा, बसपा और कांग्रेस सभी ब्राह्मण सम्मेलन कर रहे हैं, लेकिन लखीमपुर में दो ब्राह्मण भी मारे गए, क्या इनमें से कोई नेता गया उन पीड़ित ब्राह्मणों के घर?

    मुख्यमंत्री ने आगे कहा, “कन्नौज के नीरज मिश्रा की हत्या, क्या संतोष शुक्ला ब्राह्मण नहीं थे? कभी उनके घर गए?”

    राजनीतिक रोटियां सेंक रहा विपक्ष 

    एक समाचार चैनल से बात करते हुए योगी आदित्यनाथ ने कहा, “लखीमपुर हादसा दुर्भाग्यपूर्ण है लेकिन जिस तरह से वहां जाने के लिए विपक्षी पार्टियों के नेताओं की होड़ लगी है, उससे साफ है कि सिर्फ राजनीतिक रोटियां सेंकने के लिए यह दिखावा है। कोरोना काल में कभी नेताओं को एक बार जनता की सेवा के लिए जाना चाहिए था।”

    उन्होंने कहा, “विपक्षी दल के नेताओं को लगा कि लखीमपुर एक बहाना है, लेकिन ऐसा नहीं हो पायेगा। ये कोई सद्भावना के दूत नहीं है। सरकार की पहली प्राथमिकता होती है शांति और सौहार्द बनाना, सरकार ने वही किया।”

    भूपेश बघेल से छत्तीसगढ़ नहीं संभाल रहा 

    भूपेश बघेल पर हमला बोलते हुए मुख्यमंत्री योगी ने कहा, “कांग्रेस शासित छत्तीसगढ़ के कर्वधा में जो हुआ, क्या वहां कोई गया इनमें से? जिन लोगों को पुलिस ने गोलियों से भूना, क्या कोई उनसे मिलने गया?” उन्होंने कहा, “कांग्रेस शासित छत्तीसगढ़ में किसानों को गोलियों से भूना गया, वहां के मुख्यमंत्री से अपना प्रदेश तो संभल नहीं रहा है।”

    अखिलेश यादव को पढ़ने-लिखने की फुर्सत कहां

    सपा प्रमुख पर हमला बोलते हुए योगी ने कहा, “अखिलेश यादव को पढ़ने-लिखने की फुर्सत कहां है, वो तो बड़े बाप के बड़े बेटे हैं। स्वाभाविक रूप से उनकी जिंदगी है और उनकी अपनी कार्य पद्धति है। देश और दुनिया से उन्हें क्या मतलब है?”

    कश्मीर का आईना दिखाना चाहिए

    ओवैसी पर हमला बोलते हुए मुख्यमंत्री योगी ने कहा, “ओवैसी अगर कश्मीर में निशाना बन रहे हिंदुओं और सिक्खों के प्रति भी सहानुभूति व्यक्त कर देते, तो लोग उनको नेता मान लेते। जो लोग लखीमपुर में हिन्दुओं और सिक्खों को आपस में लड़ाना चाह रहे हैं, उनको कश्मीर का आईना दिखाना चाहिए। 

    तालिबान का समर्थक करने वाले कर रहे राजनीतिकरण

    विपक्षी दलों द्वारा लखीमपुर खीरी का राजनीतिकरण का आरोप लगते हुए योगी ने कहा, “लखीमपुर का राजनीतिकरण करने वालों को तालिबान का आईना दिखाना चाहिए। देश के अंदर लखीमपुर मुद्दे का राजनीतिकरण कौन कर रहे हैं? वही जो काबुल में तालिबान का समर्थन कर रहे हैं।”

    उन्होंने कहा, “कोई अगर इस गलतफहमी में है कि उत्तर प्रदेश के अंदर वो घेराबंदी करके आम जनजीवन को ठप कर देंगे, या निर्दोष लोगों पर हमला करेंगे, तो वो लोग भी तैयार हो जाएं, हम तो तैयार ही हैं।”

    उन्होंने आगे कहा, “विपक्ष के लोग सद्भावना के दूत नहीं थे और इनमें से बहुत सारे चेहरे इस उपद्रव और हिंसा के पीछे भी शामिल होंगे। एक बार तथ्य सामने आने दीजिए, हम सत्य सबके सामने रख देंगे।”