लखनऊ. लखीमपुर हिंसा मामले (Lakhimpur violence case) में आशीष मिश्र (Ashish Mishra) के बाद फरार चल रहे आरोपी अंकित दास (Ankit Das) ने आत्मसमर्पण कर दिया है। उनके घर के बाहर पुलिस ने नोटिस चस्पा कर दिया था। एसआईटी ने नोटिस में तमाम सबूतों के साथ अंकित को तलब किया था। जिसके बाद अंकित बुधवार को क्राइम ब्रांच ऑफिस के सामने पेश हुए। जहां उनसे लगभग पांच घंटे तक पूछताछ चली और फिर उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया।
22 अक्टूबर तक न्यायिक हिरासत
बुधवार को पांच घंटे की पूछताछ के बाद क्राइम ब्रांच ने अंकित दास को कोर्ट में पेश किया। CJM कोर्ट में अंकित दास पर सुनवाई हुई। इस दौरान पुलिस ने अंकित की 14 दिन की रिमांड की मांग की। जिस पर फैसला सुरक्षित रखा गया। कोर्ट ने अंकित को 22 अक्टूबर तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया है। जिसमें से वह तीन दिन यानी 14 से 17 अक्टूबर तक पुलिस की कस्टडी में रहेंगे।
Lakhimpur Kheri violence case: Ankit Das sent to judicial custody till 22nd October
— ANI UP (@ANINewsUP) October 13, 2021
नेपाल फरार हो गए थे अंकित
क्राइम ब्रांच ने अंकित दास से पांच घंटे तक पूछताछ की। इस दौरान अंकित और आशीष को आमने-सामने बिठाकर पूछताछ की। जहां अंकित ने फॉर्च्यूनर में आशीष नहीं होने की बात कही है। साथ ही उन्होंने अपने निर्दोष होने और कोई घटनाक्रम नहीं करने की बात कही है। उन्होंने कहा कि वे सब लोग बस फ्लीट में थे। अंकित ने यह भी बात काबुली है कि वह घटना के बाद नेपाल भाग गए थे।
#UPDATE | Ankit Das sent to 3 -day police custody – from October 14-17; and judicial custody till October 22nd: SP Yadav, prosecution lawyer pic.twitter.com/bwNlwuoXDK
— ANI UP (@ANINewsUP) October 13, 2021
घटनावाले दिन मौजूद थे अंकित
अंकित दास आशीष मिश्र के दोस्त है। अंकित दास घटना के दिन मौके पर मौजूद था। उनके के ड्राइवर शेखर भारती को पुलिस ने पहले ही गिरफ्तार कर लिया है और पूछताछ कर चुकी है। बताया जा रहा है कि हिंसा वाले दिन आशीष मिश्र की थार गाड़ी के पीछे अंकित दास की फॉर्च्यूनर मौजूद थी। उस गाड़ी को शेखर ही चला रहा था।
15-20 लोगों के खिलाफ मामला दर्ज
लखीमपुर खीरी जिले के तिकुनिया थाने में बहराइच जिले के निवासी जगजीत सिंह की ओर से सोमवार को दर्ज कराई गई प्राथमिकी में गृह राज्य मंत्री के पुत्र आशीष मिश्र उर्फ मोनू पर 15-20 अज्ञात लोगों के साथ किसानों के ऊपर जीप चढ़ाने और गोली चलाने का आरोप लगा गया है। जगजीत सिंह की तहरीर पर सोमवार को तिकुनिया थाने में आशीष मिश्र उर्फ मोनू तथा 15-20 अज्ञात लोगों के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 147 (उपद्रव), 148 (घातक अस्त्र का प्रयोग), 149 (भीड़ हिंसा), 279 (सार्वजनिक स्थल से वाहन से मानव जीवन के लिए संकट पैदा करना), 338 (दूसरों के जीवन के लिए संकट पैदा करना), 304 ए (किसी की असावधानी से किसी की मौत होना), 302 (हत्या) और 120 बी (साजिश) के तहत मामला दर्ज किया गया है।
क्या है मामला?
गौरतलब है कि, 3 अक्टूबर को केंद्रीय मंत्री अजय कुमार मिश्र टेनी के गांव में राज्य सरकार ने कई उद्घाटन और शिलान्यास कार्यक्रम रखा हुआ था। जहां राज्य के उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्या पहुंचने वाले थे। इसी को लेकर किसान सुबह से ही उनका विरोध कर रहे थे। किसानों के प्रदर्शन को देखते हुए केशव प्रसाद दूसरे रास्ते से कार्यक्रम पहुंचे। वहीं पुराने तय रास्ते पर तिकोनिया गांव पर भाजपा सांसद के कार्यकर्ता तीन गाड़ियों से जा रहे थे। इसी दौरान गाड़ियों ने पैदल चल रहे किसानों को टक्कर मार दी। जिसमें चार किसनों की मौत हो गई, और कई घायल हो गए। इस घटना के बाद वहां मौजूद भीड़ ने गाड़ियों के ऊपर हमला कर दिया। इस झड़प में एक पत्रकार समेत तीन भाजपा कार्यकर्ताओं को भीड़ ने पीटकर मार डाला।
किसान संगठन ने जहां केंद्रीय मंत्री अजय मिश्र टेनी के बेटे आशीष मिश्र पर गाड़ी से कुचलकर मारने का आरोप लगाया है। वहीं मंत्री ने इसे नकारते हुए आंदोलन करियों पर पहले हमला कर भाजपा कार्यकर्ताओं की हत्या करने का दावा किया है।