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    – राजेश मिश्र

    लखनऊ : अब बहुराष्ट्रीय एग्री कंपनियां (Multinational Agri Companies) उत्तर प्रदेश ( Uttar Pradesh) के किसानों (Farmers) को खाद, बीज, कीटनाशक और तकनीक उपलब्ध कराने के साथ उनकी उपज (Produce) की सही कीमतों पर खरीद भी करेंगी। 

    योगी सरकार प्रदेश में एग्री टेक किसान गर्वमेंट पार्टनरशिप (एटीएफजीपी) का माल विकसित करेगी जिसके तहत कृषि उत्पादों और खाद्य पदार्थों का कोराबार करने वाली बड़ी कंपनियों को न्यौता दिया जाएगा। मॉडल के तहत एग्री टेक कंपनियों, किसानों और सरकार के बीच साझेदारी होगी। कंपनियों को प्रदेश में अपना स्टोर शुरु करने, कृषि से संबंधित डाटा प्राप्त करने और इंफ्रास्ट्रक्चर विकसित करने में आसानी होगी। नए मॉडल के प्रयोग में आने के बाद किसानों का उत्पाद पेप्सिको, आईटीसी और बिग बास्केट जैसी बड़ी कंपनियां खरीद सकेंगी। 

    योगी सरकार अगले साल फरवरी में प्रस्तावित वैश्विक निवेश सम्मेलन में खेती-किसानी और खाद्य उत्पादों के कारोबार से जुड़ी 13 बड़ी कंपनियों को आमंत्रित कर रही है। इन कम्पनियों को एटीएफजीपी मॉडल के तहत प्रदेश में निवेश करने के लिए कहा जाएगा। इसके बाद कंपनियां किसानों से उनकी उपज की सही कीमतों पर खरीददारी के साथ उन्हें बाहर बेच सकेंगी। यह कंपनियां किसानों को खेती की नयी तकनीकी, ड्रोन आदि के इस्तेमाल के बारे में बताने के साथ ही खाद और बीज भी उपलब्ध कराएंगी। मझोले और छोटे किसानों को लाभ पहुंचाने के उद्देश्य से अपनाए जा रहे इस मॉडल से उन्हें मिट्टी के परीक्षण से लेकर उपज को बाजार तक पहुंचाने में मदद मिलेगी। एग्री टेक कंपनियां प्रदेश के किसानों को भंडारण की सुविधा भी उपलब्ध कराएंगी। मिनी कोल्ड स्टोरों के जरिए किसानों को फल, सब्जी और अन्य उत्पादों के उचित भंडारण की सुविधा मिलेगी। 

    बड़ी कंपनियां निवेशक सम्मेलन में हिस्सा लेंगी

    प्रदेश सरकार ने अगले साल फरवरी में होने वाले वैश्विक निवेश सम्मेलन में एग्री बाजार, समुन्नति, नाशएग्री, ग्रामकवर, बिग हाट, देहात, एग्रिम, भारत रोहन ड्रोन्स, क्रपिन, फसल, एग्रिक्स, स्टार एग्री और एग्रिव जैसी भारतीय एग्री टेक कंपनियों को आमंत्रित किया है। इसके साथ बड़ी कंपनियों में आईटीसी, पेप्सिको, बिगहाट और कारगिल जैसी कंपनियां भी निवेशक सम्मेलन में हिस्सा लेंगी। इनमें से कई कंपनियों के साथ वैश्विक निवेशक सम्मेलन के दौरान एमओयू पर हस्ताक्षर भी किए जाएंगे।सम्मेलन के पहले से ही कई बड़ी कंपनियां प्रदेश में निवेश को लेकर जानकारी हासिल कर रही हैं।