वाराणसी: आज का नया भारत अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए जाना जाता है। भारत ने टीबी (TB) के खिलाफ बड़ा संकल्प लिया है। टीबी खत्म करने का ग्लोबल टारगेट 2030 है, लेकिन भारत पांच साल पहले यानी 2025 तक टीबी को खत्म करने पर काम कर रहा है। मुझे विश्वास है कि यह संकल्प जरूर सिद्ध होगा। यस वी कैन एंड टीबी, टीबी हारेगा, भारत जीतेगा, टीबी हारेगा, दुनिया जीतेगी। यह बातें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) ने वाराणसी (Varanasi) में वन वर्ल्ड टीवी समिट 2023 (World TB Summit) का शुभारंभ करते हुए कहीं।
कार्यक्रम के दौरान पीएम मोदी ने टीबी निवारक उपचार (टीपीटी), टीबी मुक्त पंचायत पहल, टीबी के लिए परिवार केंद्रित देखभाल मॉडल और भारत की वार्षिक टीबी रिपोर्ट 2023 का भी शुभारंभ किया। उन्होंने वाराणसी में बीएसएल लैब मेट्रोपोलिटन पब्लिक हेल्थ सर्विलांस यूनिट की भी वर्चुअली आधारशिला रखी।
भारत के प्रयास टीबी के खिलाफ वैश्विक लड़ाई का नया मॉडल
पीएम मोदी ने टीबी के खिलाफ लड़ाई में भारत की वैश्विक भूमिका का विशेष उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि 2014 के बाद भारत ने जो प्रयास किए वो आज पूरे विश्व को इसलिए भी जानने चाहिए क्योंकि ये टीबी के खिलाफ वैश्विक लड़ाई का एक नया मॉडल है। हमने टीबी मुक्त भारत अभियान से जुड़ने के लिए देश के लोगों से निक्षय मित्र बनाने का आह्वान किया था। इस अभियान के बाद करीब 10 लाख टीबी मरीजों को देश के सामान्य नागरिकों ने गोद लिया है। 10-12 साल के बच्चे भी निक्षय मित्र बनकर टीबी के खिलाफ लड़ाई को आगे बढ़ा रहे हैं। कितने ही बच्चों ने अपना पिगी बैंक तोड़कर टीबी मरीजों को गोद लिया है। टीबी मरीजों के लिए निक्षय मित्रों का यह आर्थिक सहयोग एक हजार करोड़ रुपए से ऊपर पहुंच गया है।
75 लाख मरीजों को मिला डीबीटी का लाभ
पीएम ने पोषण को टीबी के लिए बड़ा चैलेंज बताते हुए कहा कि इसे देखते हुए 2018 में हमने टीबी मरीजों के लिए डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर (डीबीटी) की घोषणा की थी। तब से अब तक 2000 करोड़ रुपए सीधे टीबी मरीजों के खाते में भेजे गए। करीब 75 लाख मरीजों को इसका लाभ हुआ है। मरीजों की स्क्रीनिंग के लिए, उनके ट्रीटमेंट के लिए हमने आयुष्मान भारत योजना से जोड़ा है। टीबी की मुफ्त जांच के लिए देश भर में लैब की संख्या बढ़ाई है। आज टीबी मुक्त पंचायत की शुरुआत हुई है। इसमें हर गांव के चुने हुए जनप्रतिनिधि मिलकर संकल्प लेगें कि गांव में एक-एक मरीज को स्वस्थ करके रहेंगे। हमने टीबी की रोकथाम के लिए 6 महीने के कोर्स की जगह 3 महीने का ट्रीटमेंट भी शुरू किया है। हर मरीज के लिए जरूरी केयर को ट्रैक करने के लिए हमने निक्षय पोर्टल बनाया है।
India reaffirms its commitment towards ensuring a TB-free society. Addressing 'One World TB Summit' in Varanasi. https://t.co/7TAs2PnxPO
— Narendra Modi (@narendramodi) March 24, 2023
2007 में पूरा किया गया था गांधी जी का सपना
इस अवसर पर उन्होंने महात्मा गांधी से जुड़ी एक कहानी भी शेयर की। उन्होंने कहा कि एक बार महात्मा गांधी को अहमदाबाद में लेप्रेसी अस्पताल का उद्घाटन करने के लिए बुलाया गया, लेकिन उन्होंने मना कर दिया। वह बोले मुझे तो खुशी तब होगी जब आप उस लेप्रेसी अस्पताल को ताला लगाने के लिए मुझे बुलाएंगे। 2007 में मेरे मुख्यमंत्री रहते उस अस्पताल को ताला लगा और गांधी जी का सपना पूरा किया। पीएम ने लोगों ने अपील भी की। उन्होंने कहा कि टीबी के मरीजों में जागरूकता की कमी दिखती है। बहुत से लोग इस बीमारी को लोगों से छुपाते हैं। हमें ज्यादा से ज्यादा लोगों को जागरूक करने पर ध्यान देना होगा।