गम और तकलीफ को भुलाकर कोरोना मरीजों ने खेला गरबा

  • अस्पताल में ही थिरके मरीज

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नवीमुंबई. कोरोना के कारण भले ही मुंबई, ठाणे, नई मुंबई में इस वर्ष गरबा की धूम न हो, लेकिन एक अस्पताल में कोरोना मरीज गरबा खेलते नजर आए. यूं तो गरबा के लिए लोग रंगबिरंगी, चमकदार कपड़ों में दिखते हैं, लेकिन मरीज़ों ने मास्क, ग्लव्स और पीपीई किट पहनकर संगीत के ताल पर थिरकते नजर आए.

देश और देशवासियों के लिए यह पूरा साल खराब रहा है. कोरोना बीमारी ने लोगों को मानसिक और शारीरक रूप से इस कदर तोड़ दिया कि जिन्होंने अपनो को खोया है वे अब भी दुख से उभर रहे हैं. वर्तमान में भी मुंबई और आसपास कोरोना के काफी नए मरीज मिल रहे हैं. इस तनाव भरे वातावरण में भी नेरुल के तेरणा स्पेशलिटी एंड रिसर्च सेंटर में कोविड मरीजों को खुश रखने के लिए विभन्न कार्यक्रम का आयोजन किया जा रहा है.

पहले कोरोना ग्रसित बच्ची का जन्मदिन, फिर कोरोना ग्रसित विद्यार्थी को ऑनलाइन परीक्षा देने के लिए कंप्यूटर और कनेक्टिविटी मुहैया कराना और अब निराश मरीजों के लिए गरबा का आयोजन करना. अस्पताल में भर्ती कोरोना मरीजों का बीमारी से ध्यान हटाने के लिए अस्पताल में भी गरबा का आयोजन किया गया. आमतौर पर डॉक्टर्स पीपीई किट में दिखते है, लेकिन लोगों को संदेश देने के लिए मरीजों को भी पीपीई किट, मास्क, ग्लव्स दिया गया.

अस्पताल के जीएम संतोष साइल ने कहा कि कोरोना से ग्रसित होने के बाद मरीजों में नकारात्मक विचार आने लगते हैं, वे सुस्त और निराश हो जाते है. यह बीमारी शारीरिक व मानसिक समस्या भी उत्पन्न करता है ऐसे में हमने मरीजों के निराशा और अकेलापन को दूर करने के लिए एक छोटा सा आयोजन किया. मरीज सोनल शाह (बदला हुआ नाम) ने बताया कि मैं पिछले 6 दिन से अस्पताल में भर्ती हूं. बीमारी ऐसी की न दोस्त मिल सकते हैं न परिवार अकेले काफी बोर होता है. अस्पताल ने गरबा का आयोजन किया कुछ ही समय के लिए सही अन्य लोगों के साथ गरबा खेल कर अच्छा लगा.