(Image- Twitter)
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    नई दिल्ली: पूरी दुनिया (World) यूक्रेन (Ukraine) के तबाही का मंजर देख रही है, पिछले कई दिनों से रूस यूक्रेन पर हमला किये जा रहा है, लेकिन इसके इस अमानवीय कार्य की दुनिया में कई देश और लोग निंदा कर है, और इसका विरोध भी कर रहे है। इतना ही नहीं बल्कि रूस के कई लोग इस युद्ध के खिलाफ विरोध प्रदर्शन (Protest against war) भी कर रहे है, ऐसे में यूक्रेन के समर्थन (Support to Ukraine) में और रूस के खिलाफ फ़्रांस में भी अनोखे तरिके से विरोध प्रदर्शन हो रहा है, दरअसल यहां फ्रांस (France) की राजधानी पेरिस (Capital Paris) से एक ऐसा मामला सामने आया है जहां पर्वतारोही (Mountaineer) यूक्रेन के लिए समर्थन जताते हुए पेरिस की सबसे ऊंची इमारत पर बिना रस्सियों के चढ़ गए। आइए जानीते है पूरी खबर…. 

    इस तरह किया यूक्रेन का समर्थन 

     जैसा  की हमने आपको बताया यह घटना फ्रांस की राजधानी पेरिस की है। फ्रांस की मीडिया सर्विसेस की रिपोर्ट्स के मुताबिक यह चढ़ाई मोंटपर्नासे बिल्डिंग पर की गई है। 21 साल के लियो अर्बन (Leo Urban) और उनके साथी लैंडोट (landot) ने यूक्रेनी फ्लैग के रंग की ड्रेस पहन कर बिल्डिंग पर चढ़ाई की। फ्रांस की इस जोड़ी ने 52 मिनट में 210-मीटर (689-फुट) ऊंची बिल्डिंग की छत पर चढ़कर यूक्रेनी झंडा फहराया। इस दौरान उन्हें देखने के लिए लोगों की भीड़ लग गई।

    यूक्रेन के जान गंवाने वालों की दी श्रद्धांजलि 

    वाकई में यह विरोध प्रदर्शन दुनिया की नजरे अपनी और खिंच रहा है। रिपोर्ट के मुताबिक लोग इस नजारे को देखने के लिए बिल्डिंग के आसपास एकत्र हो गए। पर्वतारोहियों ने बताया कि यूक्रेन के लोग जिस तरह रूसी हमलों का सामना कर रहे हैं हम उनके साहस को सलाम करते हैं और इस युद्ध में जान गंवाने वालों को श्रद्धांजलि देते हैं। लैंडोट ने पहले भी साल 2021 में दो बार मोंटपर्नासे टॉवर पर सफलतापूर्वक चढ़ाई की थी, जबकि अर्बन पिछले सितंबर में एफिल टॉवर पर चढ़ाई कर चुके है।

     

    यूक्रेन के राष्ट्रपति ने कहा…. 

    ऐसे युद्धजन्य परिस्थिती में यूक्रेन के राष्ट्रपति के कई बैन सामने आ रहे है। बता दें कि युद्ध के बीच अब यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की ने स्पष्ट कह दिया है यूक्रेन अब NATO की सदस्यता की मांग नहीं करेगा। रूस की मांगों के बारे में जेलेंस्की ने कहा कि वह बातचीत करने को तैयार हैं। जेलेंस्की ने कहा कि वह केवल सुरक्षा की गारंटी मांग रहे हैं। जेलेंस्की के इस बयान के बाद विशेषज्ञों का मानना है कि ऐसा लग रहा है कि यूक्रेन अब जल्द ही हथियार डाल देगा। पूरी दुनिया के नजरें अब यूक्रेन और रूस पर टिकी हुई है।