बोस्टन में लिंकन की प्रतिमा के सामने घुटने के बल बैठे दास वाली प्रतिमा हटाई जाएगी

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बोस्टन. अमेरिका के बोस्टन शहर में कला आयोग ने उस प्रतिमा को हटाने के लिए सर्वसम्मति से मतदान किया जिसमें मुक्त किए गए एक दास को अब्राहम लिंकन के पैरों में घुटने के बल झुके हुए दिखाया गया है। जॉर्ज फ्लॉयड की पुलिस हिरासत में मौत के बाद देश में दासता के प्रतीकों के खिलाफ बढ़ रहे गुस्से के बीच आयोग को इमैन्सिपेशन मेमोरियल के बारे में काफी शिकायतें मिली थी। यह प्रतिमा बोस्टन कॉमन के नजदीक एक पार्क में वर्ष 1879 से लगी है। यह प्रतिमा इससे तीन साल पहले वाशिंगटन डीसी में बनाई गई ऐसी ही प्रतिमा से मिलती जुलती है।

इस प्रतिमा को बोस्टन में इसलिए लगाया गया क्योंकि इस शहर में इस प्रतिमा को बनाने वाले श्वेत शिल्पकार थॉमस बॉल का घर है। इस प्रतिमा को अमेरिका में दासों को मुक्त करने के जश्न के तौर पर लगाया गया लेकिन कई लोगों ने काले व्यक्ति के लिंकन के सामने घुटने के बल झुकने को लेकर आपत्ति जताई। बोस्टन के मेयर मार्टी वाल्श ने मंगलवार रात को एक बयान में कहा, ‘‘यह साफ है कि बोस्टन के निवासी और आगंतुक इस प्रतिमा से असहज महसूस कर रहे हैं।” प्रतिमा को हटाने की मांग वाली याचिका पर 12,000 से अधिक लोगों ने हस्ताक्षर किए हैं। अधिकारियों ने इसे हटाने की अभी कोई तारीख तय नहीं की है और कहा कि 14 जुलाई को अगली बैठक में इस पर फैसला लिया जाएगा। (एजेंसी)