medicare Hospital

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    पुसद. मेडिसीन मल्टीस्पेशलिटी अस्पताल को कोरोना के मरीजों के इलाज के लिए शासन की ओर से अनुमति दी गई है. पाजिटिव रोगियों को हर दिन अस्पताल में भर्ती किया जा रहा है. उस जगह पर वित्तीय लूट और मरीजों को धोखा देने के गंभीर आरोप लगाए जा रहे हैं. सुधीर बाबू सिंह राठोड निवासी तुलसीनगर तहसील महागांव ने लिखित शिकायत दर्ज कराई है. कोरोना परीक्षण पाजिटिव होने के बाद मरीज को इलाज के लिए भर्ती कराया गया था. आरोप है कि डाक्टरों ने उनसे प्रति विजिट 1 हजार रुपये का शुल्क लिया. आरएमओ शुल्क रुपये पर लगाया गया था. यह बिल लगाकर मरीजों को आर्थिक रूप से लूटा जा रहा है.

    6 मरीजों को एक जनरल कमरे में भर्ती कराया गया. उन मरीजों के लिए उसे हर दिन एक पीपीई किट खरीदने के लिए मजबूर किया जाता था. कमरे में कोई आरएमओ मौजूद नहीं था, पीपीई किट के लिए प्रतिदिन 6 रोगियों का शुल्क लिया जाता था. जिस कमरे में कोरोना संक्रमित रोगियों को भर्ती किया गया था वह बेहद सरल था. कोई व्यवस्था नहीं थी. ऑक्सीजन नहीं थी, किंतु उस कमरे का वास्तविक किराया आईसीयू रूम के लिए 1 दिन में 6 हजार रुपये था. निर्वहन के 5 दिनों के बाद कोई रक्त रिपोर्ट नहीं मिली. जानबूझकर 1 दिन के लिए रोका गया. 

    जिलाधीश से की शिकायत

    उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि मुझे कोई सलाइन नहीं दिया गया था, किंतु मुझे जानबूझकर 1 दिन के लिए कमरे का किराया बढ़ाने रखा गया था. मेडिकेयर मल्टीस्पेशलिटी अस्पताल के निदेशक डॉ. सतीश चिद्दरवार, डॉ. संजय अग्रवाल और डॉ. वीरेन पापलकर की पूछताछ की जानी चाहिए. इसे लेकर जिलाधिकारी से लिखित शिकायत की गई है. पुसद विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र के विधायक इंद्रनील नाईक को भी शिकायत दी गई है.