धर्म-अध्यात्म

Published: Oct 08, 2021 04:42 PM IST

Shardiya Navratri 2021नवरात्रि में किस दिन देवी को कौन सा लगाएं भोग ? यहां जानिए

कंटेन्ट राइटरनवभारत.कॉम

सीमा कुमारी

नई दिल्ली : ‘नवरात्रि’ महापर्व की शुरुआत हो चुकी है। वैसे तो सालभर में 4 बार ‘नवरात्रि’ का त्योहार आता है। मगर, चैत्र और शारदीय नवरात्रि को बड़ी ही धूमधाम से मनाया जाता है। इस दौरान पूरे नौ दिनों तक देवी दुर्गा के नौ स्वरूपों की पूजा होती है। मान्यता है कि देवी में के इन रूपों को अलग-अलग भोग लगाने से माता रानी का आशीर्वाद मिलता है। आइए जानें इस बारे में –

ज्योतिष-शास्त्र के अनुसार, नवरात्रि के पहले दिन मां ‘शैलपुत्री’ की पूजा होती है। इस दिन देवी मां को गाय के घी के तैयार मिष्टान्न या किसी श्वेत मिष्टान्न का भोग लगाएं। मान्यता है कि इससे रोगों से छुटकारा मिलती है। हर तरह की बीमारी से बचाव रहता है।

‘नवरात्रि’ के दूसरे दिन मां ‘ब्रह्मचारिणी’ की पूजा होती है। इस दिन आप देवी दुर्गा के ‘ब्रह्मचारिणी’ रूप को शक्कर और पंचामृत का भोग लगाएं। माना जाता है कि इससे देवी मां दीर्घायु होने का आशीर्वाद देती है।

‘नवरात्रि’ के तीसरे दिन दुर्गा माता के ‘चंद्रघंटा’ स्वरूप की पूजा-अर्चना की जाती है। इस दिन देवी मां की असीम कृपा पाने के लिए उन्हें खीर या दूध से बनी किसी मिठाई का भोग लगाएं।

‘नवरात्रि’ का चौथा दिन देवी दुर्गा के ‘कुष्मांडा’ रूप को समर्पित है। इस दिन माता का आशीर्वाद पाने के लिए उन्हें मालपुए का भोग लगाएं। इसके बाद यह प्रसाद ब्राह्मण को दान करें। बाद में खुद भी खाएं। मान्यता है कि इससे बुद्धि का विकास होता है और निर्णय क्षमता बढ़ती है।

‘नवरात्रि’ के पांचवें दिन मां ‘स्कंदमाता’ की पूजा होती है। इस दिन देवी मां को केला चढ़ाना शुभ माना जाता है।

छठी नवरात्रि मां कात्यायनी को समर्पित होता है। इस दिन देवी मां को मधु यानि शहद का भोग लगाने से शुभफल की प्राप्ति होती है।

‘नवरात्रि’ के सातवें दिन मां ‘कालरात्रि’ की पूजा करने का महत्व है। इस दिन देवी मां को गुड़ या उससे बनी मिठाइयों का भोग लगाना चाहिए। कहा जाता है कि इससे जीवन में आने वाले संकटों से मां रक्षा करती है।

‘नवरात्रि’ का आठवां दिन देवी दुर्गा के मां ‘महागौरी’ स्वरूप को समर्पित होता  है। ऐसे में आप मां ‘महागौरी’ की कृपा पाने के लिए उन्हें नारियल या इससे तैयार मिठाई का भोग लगाएं।

 ‘नवरात्रि’ का नौवां दिन मां ‘सिद्धिदात्री’ को समर्पित होता है। इसमें देवी मां को चने, हलवा, पूरी का भोग लगाया जाता है। उसके बाद इस दिन घर पर कन्या पूजन करने का विशेष महत्व है। मान्यता है कि इससे देवी मां की असीम कृपा मिलती है। इससे घर में सुख-समृद्धि व खुशहाली का वास होता है।