औरंगाबाद

Published: Nov 02, 2021 08:21 PM IST

Water Crisisपानी नहीं देने में सत्ताधारी नाकाम तो उन्हें सत्ता में रहने का अधिकार नहीं : सुहास दाशरथे

कंटेन्ट राइटरनवभारत.कॉम
कंटेन्ट एडिटरनवभारत.कॉम

औरंगाबाद : हिंदू समुदाय (Hindu Community) के सबसे बड़े दीपावली त्यौहार (Diwali Festival) के पूर्व शहर के सिडको-हडको परिसर (CIDCO-HUDCO Complex) में पेयजल  की गंभीर समस्या निर्माण हो रही है। महानगरपालिका प्रशासन (Municipal Administration) के लापरवाही से उस परिसर के नागरिक पेयजल के लिए तरस रहे है। महानगरपालिका प्रशासन को जगाकर सिडको-हडको वासियों की पेयजल की समस्या हल करने के लिए महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के औरंगाबाद ईकाई की ओर से सिडको एन-5 परिसर में स्थित पानी के टंकी के सामने पार्टी प्रवक्ता प्रकाश महाजन, जिलाध्यक्ष सुहास दाशरथे, शहराध्यक्ष सतनामसिंह गुलाटी के नेतृत्व में आंदोलन किया गया।

आंदोलन के दरमियान पत्रकारों से बातचीत करते हुए जिलाध्यक्ष दाशरथे ने कहा कि हिंदु समुदाय का सबसे बड़ा दीपावली का पावन पर्व जारी है। इस पावन पर्व पर सिडको-हडको वासी पानी के लिए तरस रहे है। उन्होंने शिवसेना का नाम लिए बिना आरोप लगाया कि कई सालों से महानगरपालिका पर सत्ताधारी दल ने राज करने के बावजूद इस परिसर के नागरिकों की आज तक मूलभूत सुविधाओं को पूरा नहीं किया गया। इस परिसर के नागरिक सालों से मूलभूत सुविधाओं के लिए तरस रहे है। सत्ताधारियों से सिडको-हडको वासियों को न्याय न मिलने से इस परिसर के नागरिक मनसे से न्याय मांग रहे है। 

टंकियों का इस्तेमाल टैंकर माफियाओं के जेब भरने के लिए 

मनसे के जिलाध्यक्ष सुहास दाशरथ ने कहा कि  इस परिसर में दो बड़ी  पानी की टंकिया है। इसके बावजूद परिसर की नागरिकों की पेयजल समस्या हल नहीं हो पा रही है। क्योंकि, इस परिसर के पानी की टंकियों का इस्तेमाल टैंकर माफियाओं के जेब भरने के लिए होता है। सभी टैंकर माफिया सत्ताधारी दल से जुड़े  होने का आरोप दाशरथे ने लगाया। उन्होंने महानगरपालिका प्रशासन को चेताया कि दीपावली होने तक इस परिसर के पानी की समस्या हल करें। वरना, मनसे सिडको-हडको परिसर की पेयजल समस्या हल करने के लिए और सख्त आंदोलन करेंगी। 

सालों तक पूरी नहीं होगी नई पेयजल योजना 

मनसे जिलाध्यक्ष दाशरथे ने जीवन प्राधिकरण के माध्यम से शहर में नई पेयजल योजना के हाथ में लिए काम पर कई सवाल उठाते हुए कहा कि यह योजना  सालों तक पूरी होना असंभव है। इससे पूर्व ही मनसे नई पेयजल योजना की पोल खोल प्रेस वार्ता लेकर कर चुका है। अंत में दाशरथे ने कहा कि हिंदू समुदाय के प्रमुख त्यौहार पर पानी नहीं देने में सत्ताधारी नाकाम है तो उन्हें सत्ता में रहने का अधिकार नहीं है। आंदोलन में उपशहराध्यक्ष आशिष सुरडकर, गजन गौंडा पाटिल, विभाग अध्यक्ष अशोक पवार, संदिप कुलकर्णी, उमेश दीक्षित, शहर सचिव संतोष कुटे, चेतन पाटिल, गणेश सांलुके, चंदु नवपुते, अविनाश पोफले, विशाल विराले, नामदेव बेन्द्रे, किरण गवई, उमेश दीक्षित, नीरज बरेजा, बाबूराव  जाधव, राजू चव्हाण, कृष्णा पाटिल, सुरेन्द्र वाडेकर, योगेश पवार, ऋषि महाजन, रामकृष्ण मोरे, नितिन कल्याणकर, वृषभ रगडे, चिन्मय कुलकर्णी, गिरीश गिरी, अजय साबले, स्वप्रिल घोडके, शंतनु बेन्द्रे, राजेन्द्र खुरमुटे, अमित जैसवाल आदि  ने हिस्सा लिया।