नाशिक

Published: May 02, 2022 08:42 PM IST

Farmer Suicideउत्पादन खर्च का भुगतान नहीं होने से निराश किसान की आत्महत्या

कंटेन्ट राइटरनवभारत.कॉम

नाशिक : प्याज बिक्री (Onion Sales) से उत्पादन खर्च भी वसूल न होने से हताश हुए तहसील के खुंटेवाडी निवासी महेंद्र सुरेश भामरे (Mahendra Suresh Bhamre) (42) नामक किसान (Farmer) ने आत्महत्या (Suicide) करने की दुर्भाग्यपूर्ण घटना सामने आई है। बताया जा रहा है की, प्याज की बुआई के लिए महेंद्र ने लोगों से उधार पैसे (Borrow Money) लिए थे, जिसे वापस करने में खुद को वह असमर्थ महसूस कर रहा था। महेंद्र की आत्महत्या से परिसर में शोक व्याप्त हो गया है। महेंद्र सुरेश भामरे उर्फ गोटू ने मेहनत से प्याज की बुआई कि थी, जिसकी बिक्री करने के लिए वह शुक्रवार को मंडी (Mandi) में पहुंचा था, लेकिन अच्छी से अच्छी प्याज को केवल 8 रुपए प्रति किलो का दाम मिला। ट्रैक्टर भरकर 30 क्विंटल के केवल 24 हजार रुपए मिले। इसमें ट्रैक्टर का किराया, मजदूरी सहित अन्य खर्च काटकर हाथ में कुछ भी नहीं बचा। जबकि, मकान बनाने के लिए किया गया खर्च, खेती के लिए उधार लिए हुए पैसे देने की समस्या निर्माण हुई। इससे हताश होकर महेंद्र ने फसल पर छिड़काव (Spraying) करने वाले कीटनाशक (Pesticide) प्रशान किया। घटना ध्यान में आने के बाद उसे तत्काल इलाज के लिए देवला ग्रामीण अस्पताल (Hospital) में भर्ती किया गया। प्राथमिक इलाज के बाद मालेगांव और धुलिया के अस्पताल में लेकर गए, लेकिन उपचार को कोई प्रतिसाद नहीं मिला। इसबिच महेंद्र ने दम तोड़ दिया। वर्तमान में प्याज को मिल रहे दाम को लेकर किसान हताश हो गए है। ग्रामीण महेंद्र के परिवार को तत्काल आर्थिक मदद देने की मांग सरकार के पास कर रहे है। प्रश्न उठा रहे है की, अगर उत्पादन का खर्च भी नहीं निकल सकता तो, फिर वह खेती क्यों और किसके लिए कर रहे है?

आर्थिक मदद मिलनी चाहिए

महेंद्र अत्यंत मेहनती युवा किसान था, जिसने बड़ी मेहनत से छोटासा मकान बनाया था। परिवार चलाने के लिए खेती करता था, लेकिन फसल को कम दाम मिलने से हताश होकर उसने आत्महत्या जैसा घातक कदम उठाया। उसके परिवार को आर्थिक मदद मिलनी चाहिए। (भाऊसाहब पगार, पूर्व सरपंच, खुंटेवाडी, देवला)