पुणे

Published: Jan 29, 2023 05:51 PM IST

Helpline Numberपिंपरी-चिंचवड पुलिस ने माथाड़ी यूनियन की दादागिरी खत्म करने के लिए जारी किया हेल्पलाइन नंबर, पढ़ें पूरी जानकारी

कंटेन्ट राइटरनवभारत.कॉम
कंटेन्ट एडिटरनवभारत.कॉम
Photo - Twitter - @PCcityPolice

पिंपरी : पिंपरी-चिंचवड पुलिस (Pimpri-Chinchwad Police) ने अब अवैध माथाड़ी यूनियनों (Illegal Mathadi Unions) और कर्मचारियों (Employees) और उनकी दादागिरी (Dadagiri) पर अंकुश लगाने के लिए कमर कस ली है और ट्विटर के माध्यम से एक हेल्पलाइन नंबर (Helpline Numbers) की घोषणा की है। इसमें कंपनियां या उनके आपूर्तिकर्ता संबंधित माथाड़ी यूनियन और कर्मचारियों के बारे में व्हाट्सएप के माध्यम से सीधे पुलिस को रिपोर्ट कर सकते हैं।

पिंपरी-चिंचवड के नए पुलिस कमिश्नर विनय कुमार चौबे ने औद्योगिक नगरी में उद्योगों की समस्याओं और औद्योगिक क्षेत्र में बढ़ते अपराध पर अंकुश लगाने पर जोर दिया है। कुछ दिन पहले ही उद्यमियों की बैठक में पुलिस ने उद्यमियों को आश्वासन दिया था कि वे उद्योगों की रक्षा करेंगे। इसी पृष्ठभूमि में औद्योगिक क्षेत्र में अनाधिकृत माथाड़ी यूनियनों की दादागिरी और जबरन वसूली पर अंकुश लगाया जाएगा। इस कड़ी में माथाडी यूनियन की शिकायतों के लिए व्हाट्सएप नंबर 9529691966 जारी किया। इस पर तत्काल दे सकते हैं। शिकायत के बाद संबंधित माथाड़ी कर्मचारियों के खिलाफ नजदीकी थाने से मामला दर्ज कर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

पिंपरी-चिंचवड पुलिस ने ट्विटर के जरिए इस पहल की जानकारी दी

कुछ दिन पहले आईटी पार्क हिंजवड़ी में एक माथाड़ी कर्मचारी ने एक नामी कंपनी इंफोसिस को जा रहे माल को रोक लिया और चालक से रंगदारी वसूल ली। इस संबंध में हिंजवड़ी पुलिस स्टेशन में मामला भी दर्ज किया गया है। पुलिस में अक्सर माथाड़ी कर्मचारियों की शिकायतें जैसे कंपनी में जाने वाले माल को रोकना, उन्हें परेशान करना, एक निश्चित क्षेत्र को चुनना और वहां अपना आतंक पैदा करने की कोशिश करना प्राप्त होती है। इनमें से कई यूनियन और कर्मचारी अनाधिकृत हैं, इसलिए इन्हें रोकने के लिए यह पहल की जा रही है। जैसे ही पिंपरी-चिंचवड ने ट्विटर के माध्यम से इस पहल के बारे में सूचित किया, कुछ नागरिकों ने इसकी सराहना की, जबकि अन्य ने पुलिस से कंपनी के साथ-साथ रेलवे स्टेशन जैसे क्षेत्रों में सादी वर्दी में गश्त बढ़ाने और माथाड़ी कमर्चारियों की दादागिरी पर अंकुश लगाने की मांग की।