Rahul Gandhi and Mohan Bhagwat on Reservation
राहुल गांधी और आरएसएस प्रमुख मोहन भगवत (फोटो: पीटीआई)

आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने आरक्षण समर्थन किया है। वहीं, राहुल गांधी ने कहा कि आरएसएस ने पहले आरक्षण का विरोध किया था। आरएसएस और बीजेपी संविधान को नष्ट करना चाहती है।

Loading

हैदराबाद/दमन. सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) पर आरक्षण (Reservation) का विरोध करने के विपक्ष के आरोप के बीच आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत (Mohan Bhagwat) अब आरक्षण के समर्थन में उतर आए हैं। उनका कहना है कि संगठन ने हमेशा संविधान के अनुसार आरक्षण का समर्थन किया है।

हैदराबाद में रविवार को शैक्षणिक संस्थान में एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने सोशल मीडिया पर प्रसारित एक वीडियो का उल्लेख किया और कहा कि इसमें झूठा दावा किया गया है कि आरएसएस आरक्षण का विरोध करता है। उन्होंने कहा कि जब से आरक्षण अस्तित्व में आया है, संघ ने संविधान के अनुसार आरक्षण का पूरी तरह समर्थन किया है।

भागवत के इस बयान को लेकर कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने आरएसएस पर निशाना साधा। गांधी ने केंद्र शासित प्रदेश दमन तथा दीव और दादरा तथा नगर हवेली के दमन में एक चुनावी रैली को संबोधित करते हुए, गांधी ने यह भी आरोप लगाया कि संघ और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) अपने नेताओं को देश का “राजा” बनाने के लिए संविधान और विभिन्न संस्थानों को नष्ट करने की कोशिश कर रहे हैं। उन्होंने कहा, “संघ आज कह रहा है कि वह आरक्षण के खिलाफ नहीं है, लेकिन पहले उसने कहा था कि वह आरक्षण का विरोध करता है।”

गांधी ने कहा कि कांग्रेस और संघ-भाजपा के बीच लड़ाई वैचारिक है। उन्होंने संविधान की “रक्षा” के लिए वोट मांगा। उन्होंने कहा, “संविधान ने नींव के रूप में काम किया है। वे संविधान को नष्ट करना चाहते हैं, वे लोकतंत्र और विभिन्न संस्थानों को नष्ट करना चाहते हैं, और संघ-भाजपा (नेताओं) को देश का राजा बनाना चाहते हैं।” उन्होंने कहा कि बुनियादी स्तर पर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ-भाजपा की विचारधारा संविधान को नष्ट करने की है, जबकि कांग्रेस की इसकी रक्षा करने की है। गांधी ने कहा, “(दोनों विचारधाराओं के बीच) मूलभूत स्तर पर अंतर यह है कि हम संविधान की रक्षा कर रहे हैं। दूसरी ओर, संघ और भाजपा का लक्ष्य संविधान को नष्ट करना है।”

इसे पहले तेलंगाना के मुख्यमंत्री ए. रेवंत रेड्डी ने शनिवार को आरोप लगाया था कि आरएसएस-भाजपा आरक्षण का विरोध करते हैं। आरएसएस प्रमुख भागवत ने पिछले साल नागपुर में कहा था कि जब तक समाज में भेदभाव है तब तक आरक्षण दिया जाना चाहिए। उन्होंने कहा था कि भेदभाव समाज में व्याप्त है, भले ही यह दिखायी नहीं देता हो। (एजेंसी एडिटेड)