शासन के सुझाव अनुसार कोरोना परिस्थिति पर उपाय योजना – जिलाधीश गुल्हाने

  • संक्रमितों की संख्या बढ़ने से करना पडा रणनीति में परिवर्तन

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चंद्रपुर. कोरोना संक्रमण के शुरु में और वर्तमान में बढने की वजह से प्रतिबंधक उपाय योजना में प्रशासन को रणनीति के अनुसार कुछ परिवर्तन करना पड रहा है। शासन के दिशा निर्देशों के अनुसार कोरोना परिस्थिति पर उपाय योजना किए जाने की जानकारी जिलाधीश अजय गुल्हाने ने दी है। 

शासन के निर्देश पर बदल

पूर्व में एक संक्रमित मिलने पर उस परिसर को कंटेनमेंट जोन घोषित किया जाता था किंतु वर्ममान में  संक्रमित बढने से कंटेनमेंट जोन की संख्या बढने लगी। जिससे लोगों को दैनिक आवश्यकताएं पूर्ण करने में परेशानी होने लगी। नये उपाय योजना के अनुसार जहां रोगी मिलता है उसके आस पास के 50 घर ही प्रतिबंधित किये जा रहे है।

किसी की रिपोर्ट पाजिटिव आने पर संक्रमित के संपर्क में हाल के दिनों में आये और परिजनों की जांच की जाती है। संक्रमित की पाजिटिव रिपोर्ट आने के बाद उसके संपर्क में आये अति जोखिम वालों के हर घर में जाकर हर किसी की और कम जोखिम लक्षण वालों की जांच की जाती है।

पूर्व में बाहर से आने वाले सभी की जांच की जाती थी किंतु वर्तमान में लाकडाउन न होने से आवागमन की छूट है तथा बाहर से आने वाले सभी की जांच कर कोरोना लक्षण वालों की जांच की जाती है। कोविड सदृष्य रोग (आईएलआई और सारी) के लक्षण वालों की जांच की जाती है। पाजिटिव रोगी की अलग अलग स्थान पर उपचार न कर आवश्यकता नुसार उसे हास्पिटल में दाखिल कर उसका उपचार किया जाता है।

कोरोना पाजिटिव है किंतु लक्षण न होने पर ऐसे रोगी को कोरोना केयर सेंटर में दाखिल कर 10 दिन रखा जाता है और उसमें लक्षण न पाये जाने पर छुट्टी दी जाती है। तत्पश्चात रोगी को 7 दिनों के लिए होम क्वारंटाइन रखना आवश्यक होता है।

कोरोना केयर सेंटर के रोगी को सौम्य लक्षण पाये जाने पर वहां उपचार किया जाता है। मध्यम और तीव्र लक्षण वालों को कोविड हास्पिटल में भेजकर उपचार किया जाता है। कोविड हास्पिटल में भी संक्रमित को न्यूनतम 10 दिन रखा जाता है लगातार 3 दिन लक्षण न मिलने पर 10 दिनों के बाद छुट्टी दी जाती है। किंतु उसे 7 दिनों के लिए होम क्वारंटाइन रखा जाता है।

पूर्व में संक्रमित की पहली जांच के बाद हास्पिटल में दाखिल करने के बाद छुट्टी देने के पूर्व जांच की जाती और रिपोर्ट निगेटीव आने पर 24 घंटे में पुन: जांच कर निगेटीव होने पर छुट्टी दी जाती। किंतु वर्ममान में हास्पिटल में दाखिल संक्रमित के ठीक होने के बाद लगातार 3 दिन लक्षण न मिलने पर 10 दिनों में छुट्टी दी जाती है। 

पूर्व में पाजिटिव के संपर्क में आने वालों को इंस्ट्टीयूशनल क्वारंटाइन किया जाता। अब पाजिटिव के परिवार के संपर्क के अति जोखिम के संपर्क में आने वाले सभी की जांच और कम जोखिम के संपर्क में आने वालों में लक्षण पाये जाने पर जांच कर आवश्यकता के अनुसार कोरोना केयर सेंटर कोविड हास्पिटल भेजा जाता अथवा घर में सुविधा होने और लक्षण न होने पर होम क्वारंटाइन की अनुमति दी जा रही है।

इसलिए नागरिकों में किसी प्रकार के लक्षण दिखाई देने पर जिला कोरोना नियंत्रण व सहायता केंद्र से संपर्क करने की अपील जिलाधीश अजय गुल्हाने ने की है।