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  • परिसर के किसानों ने की मांग

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आमगांव. तहसील के किसानों ने रबी फसल बड़े पैमाने पर लगाई थी. वर्तमान में धान कटाई के लिए आने से शासकीय धान खरीदी केंद्र बिक्री के लिए लाया जा रहा है. तहसील के किसानों ने सिंचाई क्षमता के अनुसार फसल का उत्पादन लिया. जब सातबारा के लिए पटवारी के पास जाते हैं, तो अनेक बार पटवारी उपलब्ध नहीं होते तथा डिजिटल हस्ताक्षर के यंत्र, प्रिंटर, संगणक बंद रहते हैं. ऐसे समय में किसान आपले सरकार केंद्र में जाकर डिजिटल बारकोड प्रणाली के सातबारा निकाल लेते है.

सातबारा में किसी प्रकार के हस्ताक्षर अथवा मुहर की आवश्यकता नहीं है. ऐसा स्पष्ट लिखा गया है. इस जगह पर रबी फसल होने का पंजीयन नहीं होने से किसानों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. डिजिटल सातबारा पर रबी फसल होने का पंजीयन पटवारी द्वारा जांच कर किया जाना चाहिए. ऐसी मांग परिसर के किसानों द्वारा की गई है.

पटवारी डिजिटल द्वारा निकाले गए सातबारा पर अपने हाथों से लिखकर देते हैं. उक्त केंद्र से निकाले गए सातबारा पर 15 रुपये शासन पोर्टल पर लगाया जाता है. इस पर राजस्व डूबाने का प्रश्न ही निर्माण नहीं होता. सेवा केंद्र से निकाले गए डिजिटल सातबारा पर ही रबी फसल का पंजीयन करने की मांग परिसर के किसानों द्वारा की जा रही है.