नई दिल्ली/पटना. बिहार में शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर सिंह (Chandra Shekhar Singh) के बयान पर राजनीति अब पूरे उफान पर है। बीते बुधवार को इस मामले में अयोध्या के महंत जगद्गुरु परमहंस आचार्य ने भी अपनी कड़ी प्रतिक्रिया दी है। इसके साथ ही उन्होंने मंत्री चंद्रशेख को भी पद को बर्खास्त करने की मांग की है।
मामले पर महंत ने कहा कि, बिहार के शिक्षा मंत्री ने जिस तरह से रामचरितमानस ग्रंथ को नफरत फैलाने वाला ग्रंथ बताया है। उससे पूरा देश आज आहत है। उन्होंने रोष में आगे कहा कि, बिहार के शिक्षा मंत्री की जीभ काटने वाले को वो अब खुद 10 करोड़ रुपये का इनाम भी देंगे।
जगद्गुरु परमहंस: मंत्री चंद्रशेखर सिंह की काटो जीभ
घटना पर महंत जगदगुरु परमहंस आचार्य ने कहा कि, यह सनातनियों का बहुत बड़ा अपमान है। उनके इस बयान पर मैं भी कड़ी कार्रवाई की मांग करता हूं कि एक सप्ताह के अंदर उनको इस पद से बर्खास्त कर दिया जाए। इन शिक्षा मंत्री को अपने बयान के लिए माफी मांगनी चाहिए। अगर ऐसा नहीं होता है तो मैं बिहार के शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर की जीभ काटने वाले को 10 करोड़ रुपये का इनाम देने की घोषणा भी अब करता हूं।”
Jagadguru Paramhans says Bihar Minister Chandrashekhar should be sacked from post for his remarks on Ramcharitmanas
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— ANI Digital (@ani_digital) January 12, 2023
उन्होंने यह भी कहा कि इस तरह की टिप्पणी को देश में बिल्कुल बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। रामचरितमानस तो लोगों को जोड़ने वाला ग्रंथ है, तोड़ने वाला नहीं। रामचरितमानस खुद मानवता की स्थापना करने वाला वृहद ग्रंथ है। यह भारतीय संस्कृति का भव्य स्वरूप है। यह हमारे देश का गौरव है। रामचरितमानस पर इस तरह की टिप्पणी बिलकुल बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
क्या थी घटना
जानकारी दें कि शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर सिंह ने बिहार के नालंदा ओपन यूनिवर्सिटी के 15वें दीक्षांत समारोह में छात्रों को संबोधित करने के दौरान एक विवादित बयान में रामचरितमानस और मनुस्मृति को समाज को बांटने वाली किताब करार दिया। साथ ही उन्होंने कहा कि, इस किताब से समाज में नफरत फैलती है।
#Ramcharitmanas” should be #burnt because it #spreads #hatred against #lower #castes–
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Illiterate, Mad rassa cheap @ProfShekharRJD (Whet r u doing then?) pic.twitter.com/VExQJwWTxH— YegyaSenl YuIiya (@Ayagya_YuIlya) January 11, 2023
‘मनुस्मृति’ को लेकर भी उन्होंने कहा कि, इसे इसीलिए जलाया गया था क्योंकि इसमें कई बड़े तबके के खिलाफ कई गालियां दी गई थी। साथ ही निचली जाति के लोगों को शिक्षा प्राप्त करने की अनुमति नहीं थी। वहीं उनके अनुसार रामचरितमानस में कहा गया है कि निम्न जाति के लोग शिक्षा प्राप्त करने से वैसे ही जहरीले हो जाते हैं जैसे दूध पीने के बाद सांप हो जाता है। शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर सिंह के इस बयान से फिलहाल बवाल मचा हुआ है।