नई दिल्ली: आज यानी 21 अक्टूबर शनिवार को इंडियन स्पेस रिसर्च ऑर्गनाइजेशन (ISRO) भारत के पहले ह्यूमन स्पेस फ्लाइट मिशन ‘गगनयान’ (Gaganyaan) के क्रू एस्केप सिस्टम की टेस्टिंग अब से कुछ देर बाद यानी सुबह 8:30 बजे करेगा। इससे साफ़ भाषा में कहें तो मिशन के दौरान रॉकेट में गड़बड़ी होने पर अंदर मौजूद एस्ट्रोनॉट को पृथ्वी पर सुरक्षित लाने वाले सिस्टम की आज टेस्टिंग होगी। जानकारी दें कि पहला गगनयान कार्यक्रम शुरू होगा, जिसके 2025 में अमल में आने की उम्मीद है।
#WATCH via ANI Multimedia | Gaganyaan TV-D1 Mission | Test flight from Satish Dhawan Space Centre (SDSC) SHAR from Sriharikotahttps://t.co/KoAowJwXtN
— ANI (@ANI) October 21, 2023
इस बाबत आज तय कार्यक्रम के अनुसार टेस्ट व्हीकल अबॉर्ट मिशन-1 (TV-D1) को श्रीहरिकोटा के सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र से लॉन्च किया जाएगा। जानकारी दें कि इस फ्लाइट में तीन हिस्से हैं- अबॉर्ट मिशन के लिए बनाया सिंगल स्टेज लिक्विड रॉकेट, क्रू मॉड्यूल और क्रू एस्केप सिस्टम। क्रू मॉड्यूल के अंदर का वातावरण अभी वैसा नहीं होगा जैसा मैन्ड मिशन में होगा।
Mission Gaganyaan:
TV-D1 Test FlightThe test flight can be watched LIVE
from 0730 Hrs. IST
on October 21, 2023
at https://t.co/MX54CwO4IUhttps://t.co/zugXQAYy1y
YouTube: https://t.co/75VtErpm0H
DD National TV@DDNational#Gaganyaan pic.twitter.com/ktomWs2TvN— ISRO (@isro) October 19, 2023
गगनयान मिशन में 3 एस्ट्रोनॉट जाएंगे 400 KM ऊपर
इस ‘गगनयान’ में 3 दिनों के इस मिशन के लिए 3 सदस्यों के दल को 400 KM ऊपर पृथ्वी की कक्षा में भेजा जाएगा। जिसके बाद क्रू मॉड्यूल को सुरक्षित रूप से समुद्र में लैंड कराया जाएगा। बाद में बंगाल की खाड़ी से नौसेना द्वारा इन्हें खोज कर निकाला जाएगा। इस मिशन में अगर भारत कामयाब रहा तो वो ऐसा करने वाला चौथा देश बन जाएगा। पता हो कि इससे पहले अमेरिका, चीन और रूस ऐसा कर चुके हैं।
#WATCH | Gaganyaan Mission | Sriharikota, Andhra Pradesh: ISRO to launch first test flight (TV-D1 Flight Test) today from the First launch pad at SDSC-SHAR, Sriharikota. It will be a short-duration mission. pic.twitter.com/OZ3Vr5dv6o
— ANI (@ANI) October 21, 2023
बेंगलुरु में ट्रेनिंग
मिली जानकारी के अनुसार आज के इस ख़ास मिशन के लिए 4 एस्टोनॉट्स को ट्रेनिंग दी गई है। यह सब बेंगलुरु में स्थापित एस्ट्रोनॉट ट्रेनिंग फैसिलिटी में क्लासरूम ट्रेनिंग, फिजिकल फिटनेस ट्रेनिंग, सिम्युलेटर ट्रेनिंग और फ्लाइट सूट ट्रेनिंग दी गई है है।
कौन कितने देर रहा अंतरिक्ष में
- 12 अप्रैल 1961 को सोवियत रूस के यूरी गागरिन कुल जमा 108 मिनट तक स्पेस में रहे।
- फिर 5 मई 1961 को अमेरिका के एलन शेफर्ड मात्र 15 मिनट स्पेस में रहे।
- इसके बाद 15 अक्टूबर 2003 को चीन के यांग लिवेड करीब 21 घंटे स्पेस में रहे।