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नई दिल्ली. जहां एक तरफ तमिलनाडु सरकार में मंत्री उदयनिधि स्टालिन (Udaynidhi Stalin) के सनातन धर्म को लेकर दिए गए एक बयान पर जबरदस्त राजनीतिक बवाल मचा हुआ है। वहीं  उनके बयान पर कड़ा विरोध जताते हुए अयोध्या के संत परमहंस आचार्य ने सोमवार को कहा था कि जो भी उदयनिधि का सिर काट कर लाएगा, उसे 10 करोड़ रुपए का इनाम मिलेगा। लेव्किन अब अब उन्होंने फिर यह भी दोहराया है कि, “अगर 10 करोड़ रुपये उदयनिधि का सिर काटने के लिए पर्याप्त नहीं हैं, तो मैं इनाम की राशि बढ़ा दूंगा।”

उधर मामले पर एक बार फिर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे के बेटे और कर्नाटक सरकार में मंत्री प्रियंक खरगे (Priyank Kharge) ने भी उदयनिधि की हां में हां मिलते हुए कहा है कि, अगर आप जान से मारने की धमकी देने जा रहे हैं या कुछ भी कहने वाले पर 10 करोड़ रुपये का इनाम रखेंगे, तो यह क्या है आपमें और अन्य कट्टरपंथियों में क्या अंतर है? क्या आपका धर्म दया और समानता नहीं सिखाता।” दरअसल वे अयोध्या के संत परमहंस आचार्य के बात पर पलटवार कर रहे थे।

बताते चलें कि, उदयनिधि स्टालिन के बयान को लेकर प्रियंक खरगे ने बीते सोमवार को कहा था कि, “कोई भी धर्म जो समानता को आगे नहीं बढ़ाता है या आपके मनुष्य होने की गरिमा का ध्यान नहीं रखता है तो वो मेरे हिसाब से धर्म ही नहीं है। जो भी धर्म आपको बराबरी नहीं देता है और इंसान नहीं मानता है, वह एक बीमारी की तरह ही है।”

जानकारी दें कि, आज संत परमहंस आचार्य न कहा है कि, “अगर 10 करोड़ रुपये भी उदयनिधि का सिर काटने के लिए पर्याप्त नहीं हैं, तो मैं इनाम बढ़ा दूंगा, लेकिन ‘सनातन धर्म’ का अपमान बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।देश में जो भी विकास हुआ है वह ‘सनातन धर्म’ की वजह से हुआ है। उन्हें अपने बयान के लिए माफी मांगनी चाहिए।उन्होंने देश के 100 करोड़ लोगों की भावनाओं को ठेस पहुंचाई है।”