क्यों मनाया जाता है विश्व फोटोग्राफी दिवस, जानें कब हुई थी इसकी शुरुआत

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    नई दिल्ली : जीवन के खास लम्हों को कैद करने के लिए फोटोग्राफी एक बेहद नायाब तरीका है। फोटोज निकालना मानो हम सब के जीवन का अभिन्न अंग बन गया है। आज के दौर में फोटोज निकालना और भी आसान हो गया है क्योकि आज हर एक इंसान के पास आसानी से मोबाइल रहता ही है। हर साल 19 अगस्त को पूरी दुनिया में विश्व फोटोग्राफी दिवस मनाया जाता है। आज के इस खास ‘विश्व फोटोग्राफी दिवस’ के मौके पर हम इस लेख द्वारा इससे जुडी जानकारी आपको दे रहे है….. 

    विश्व फोटोग्राफी दिवस उद्देश्य, शुरुआत  

    इस दिन का खास उद्देश्य है। ‘विश्व फोटोग्राफी दिवस’ का मुख्य उद्देश्य दुनिया भर के सभी फोटोग्राफरों को प्रोत्साहित करना है। ‘विश्व फोटोग्राफी दिवस’ मनाने की कहानी बहुत पुरानी है। आपको बता दें कि सन 1839 में फ्रांस में डॉगोरोटाईप इस फोटोग्राफी की प्रक्रिया शुरू की थी। आपको बता दें कि डॉगोरोटाईप यह प्रक्रिया दुनिया की पहली फोटोग्राफी प्रक्रिया है। 

    इसका आविष्कार लुइस डोगर और जोसेफ नाइसफोर ने किया था और यह दोनों फ्रांस के ही रहने वाले थे। इन दोनों ने 19 अगस्त 1839 को इस अविष्कार की घोषणा की थी। घोषणा करने के बाद उन्होंने इस आविष्कार का पेटेंट प्राप्त किया।आधिकारिक तौर पर इस दिन को मनाने की शुरुआत 2010 में हुई थी। इसी दिन को यद् करने के उद्देश्य से और फोटोग्राफी की महत्ता को बढ़ाने के उद्देश्य से हर साल 19 अगस्त को वर्ल्ड फोटोग्राफी दिवस मनाया जाता है। 

    विश्व फोटोग्राफी दिवस का महत्व 

    विश्व फोटोग्राफी दिवस को मनाने का एक खास मकसद भी है। इस दिन फोटोग्राफी के प्रति जागरूकता और इससे जुड़े विचारों को साझा करने के लिए वर्ल्ड फोटोग्राफी दिवस मनाया जाता है। साथ ही लोग का पघ्टोग्राफी में करियर बनाने को लेकर बढ़ावा देने के लिए और उन्हें प्रोत्साहन देने के लिए यह दिन मनाया जाता है। 

    इस दिन को मनाने के जरिये फोटोग्राफी क्षेत्र में जिन महान लोगों का योगदान है उन्हें याद किया जाता है और भविष्य  में इस क्षेत्र में अगली पीढ़ी को प्रोत्साहित करने के लिए यह दिन मनाया जाता है।