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    सीमा कुमारी

    नई दिल्ली: सेब, संतरा, जामुन जैसे फलों का सेवन तो आपने बहुत किया होगा, लेकिन क्या आपने कभी करौंदा खाया है? बहुत से लोग इसके फल के बारे में जानते तक नहीं कि ये चीज आखिर है क्या? दरअसल, करौंदा एक फल ही श्रेणी में ही आता है, जो स्वाद में थोड़ा खट्टा-थोड़ा मीठा होता है। एंटीऑक्सीडेंट, एनालजेसिक, एंटी इन्फ्लेमेटरी, लिवर प्रोटेक्टिंग, ब्लड शुगर लेवल घटाने वाले एंटी हाइपरग्लाइसेमिक और कोलेस्ट्रॉल घटाने वाले हाइपोलिपिडेमिक से भरपूर ‘करौंदा’का सेवन सेहत के लिए बेहद फायदेमंद होता है। आइए जानें ‘करौंदा’ से होने वाले फायदे के बारे में-

    एक्सपर्ट्स के अनुसार, करौंदा के रस के सेवन से अच्छे कोलेस्ट्रॉल का स्तर बढ़ता है, जिससे दिल को स्वस्थ रखने में मदद मिलती है। दरअसल, इसमें मौजूद तत्व हृदय रोग के खतरे को कम करते हैं और साथ ही रक्तचाप (ब्लड प्रेशर) को कम करने में भी मददगार हैं।करौंदा में विटामिन- C भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं और यह एंटी-ऑक्सीडेंट्स और फाइटोकेमिकल्स से भी परिपूर्ण होता है, ऐसे में यह इम्यूनिटी यानी प्रतिरक्षा तंत्र को मजबूत बनाता है, जिससे बार-बार बीमार पड़ने की संभावना बेहद ही कम हो जाती है।

    बरसात के दिनों में पैर फटने या फंगस लगने की समस्या सबसे अधिक होती है। इसमें करौंदा राहत दिलाता है। नियमित रूप से करौंदे के बीजों को पीसकर पैरों में लगाने से फायदा मिलता है। कुछ दिनों में पैर फटने के कारण जो घाव बन जाते हैं, उसमें भी आराम मिलता है।

    करौंदे के बीज को पीसकर तेल में पकाकर मलने से हाथ-पैर को मुलायम बनाता है। रिसर्च के अनुसार, एंटी ऑक्सीडेंट और एंटी बैक्टीरियल गुणों वाला करौंदा टाइप 2 डायबिटीज मरीजों के लिए बेहद फायदेमंद है।

    करौंदा विटामिन सी,आयरन, कैल्शियम और फास्फोरस भरपूर होता है।  इसके साथ ही अल्केलॉयड्स, फ्लेवोनॉयड्स, सेपोनिन्स, ग्लाइकोसाइड्स, फीनॉलिक कंपाउंड्स, टेनिन्स, सेलिसाइलिक एसिड पाया जाता है। करौंदे के बीज में 10 प्रतिशत प्रोटीन, 22.4 प्रतिशत ऑयल और 72.7 प्रतिशत ओलिक एसिड भी पाया जाता है।