- मंत्रिमंडल विस्तार पर अलग-थलग करने पर जताई नाराजी
नागपुर. पड़ोसी राज्य मध्यप्रदेश में कोरोना काल में भाजपा ने सत्तापलट कर दोबारा अपनी सरकार बना ली. कांग्रेस के दिग्गज ज्योतिरादित्य सिंधिया का पूरा खेमा ही इस्तीफा देकर भाजपा में शामिल हो गया. अब वहां मंत्रिमंडल विस्तार के लिए खींचतान चल रही है. ऐसी स्थिति में पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती अचानक ही नागपुर पहुंची और उन्होंने महल स्थित संघ मुख्यालय में सरसंघचालक डा. मोहन भागवत से चर्चा की. बताया जा रहा है कि भारती ने मध्यप्रदेश शिवराजसिंह चौहान के नेतृत्व में मंत्रिमंडल विस्तार को लेकर नाराजी जताई है.
इस संदर्भ में उन्होंने पहले भी सैद्धांतिक असहमति जताते हुए कहा था कि विस्तार से पहले उनसे जो सुझाव लिए गए थे, उन पर विचार तक नहीं किया गया. भीतरखाने की मानें तो भारती राज्य में खुद को अलग-थलग कर दिये जाने से नाराज चल रही हैं. उन्होंने संघ सरसंचालक को प्रदेश में मंत्रिमंडल विस्तार में सामाजिक संतुलन का ध्यान नहीं रखे जाने के संदर्भ में भी ध्यानाकर्षण कराया है. इस संदर्भ में उन्होंने संगठन के पदाधिकारियों को पत्र भी लिखा था. बताते चलें कि एमपी में विधानसभा की 24 सीटों के लिए उपचुनाव होने वाले हैं. इन सीटों में ज्यादातर सीटें ज्योतिरादित्य सिंधिया के समर्थकों से संबंधित है. उन सीटों को लेकर भाजपा में असंतोष उभर रहा है. भागवत से भारती ने इन मुद्दों पर भी चर्चा करने के कयास लग रहे हैं.
गडकरी से भी की मुलाकात
उमा भारती ने अपने गुरू मागो वैद्य से भी आशीर्वाद लिया. उसके बाद केन्द्रीय मंत्री नितिन गडकरी के वर्धा रोड स्थिति निवास पर जाकर उनसे मुलाकात की. उनके करीबी सूत्र ने बताया कि यह उनका निजी दौरा था. लेकिन ऐसे समय में जब एमपी में राजनीतिक उठापटक चरम पर है तो भारती के अचानक संघ मुख्यालय आकर 2 घंटे बिताना कई तरह के कयासों को जन्म दे रहा है. भारती पर अयोध्या प्रकरण में विशेष सीबीआई अदालत में चल रहा प्रकरण निर्णायक दौर में पहुंच गया है, कहा जा रहा है कि इन मामलों पर भी चर्चा के लिए सरसंघचालक भागवत व केंद्रीय मंत्री गडकरी से मिलीं. वे शुक्रवार की रात को ही सिटी आई थीं. रात में रविभवन में रुकीं और फिर दूसरे दिन गडकरी से भेंट की. दोपहर 11 बजे संघ मुख्यालय पहुंची और 1 बजे तक मु्ख्यालय में रहीं फिर भोपाल लौट गईं.