शिंदे-फडणवीस सरकार का निषेध, राष्ट्रवादी युवक कांग्रेस ने किया आंदोलन

    Loading

    अकोला. राष्ट्रवादी युवक कांग्रेस ने सोमवार को शिंदे-फडणवीस सरकार का निषेध करते हुए आरोप लगाया कि राज्य की शिंदे-फडणवीस सरकार महाराष्ट्र के उद्योगों को गुजरात में ले जाने का प्रयास कर रही है. इस अवसर पर रांयुकां पदाधिकरियों ने स्थानीय महात्मा गांधी चौक में कागज के हवाई जहाज उड़ाकर और गाजर पकड़कर अनोखे अंदाज में विरोध प्रदर्शन किया. इसी तरह शिंदे-फडणवीस सरकार के खिलाफ युवाओं ने जमकर नारेबाजी की.

    कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए तालाबंदी की गयी थी. जिससे सभी उद्योग और बाजार भी बंद रहे थे. प्रतिबंधों के कारण अर्थव्यवस्था चरमरा गई थी. कई की नौकरी चली गई. लेकिन अब, भले ही प्रतिबंध हटा दिए गए हों, रोजगार उपलब्ध नहीं होने से बेरोजगार युवा मुश्किल में हैं. और ऐसे में महाराष्ट्र के उद्योग दूसरे राज्यों में जा रहे हैं, और विपक्षी राजनीतिक दल आक्रामक हो गए हैं.

    इस बीच सोमवार को अकोला महानगर राष्ट्रवादी युवा कांग्रेस ने गांधी चौक पर ‘गुजरात के लिए उद्योग का विमान, मराठी युवाओं को बेरोजगारी का गाजर’ कहकर विरोध किया गया. यह आंदोलन प्रदेश अध्यक्ष महबूब शेख के आदेश पर विधायक अमोल मिटकरी, महानगर अध्यक्ष विजय देशमुख के मार्गदर्शन में चलाया गया. इस आंदोलन में अजय मते, बुढन गाडेकर, यश सावल, आकाश धवसे, अक्षय झटाले, अविनाश इंगले, अब्दुल नईम, ताज नौरंगाबादी, मंगेश इंगले, वैभव घुगे, कैलास कराले, अजय कांबले, नितिन क्षिरसागर, शौकत अली, संदीप कांबले, इरशाद, आशीष वाधवानी आदि सहित पदाधिकारी उपस्थित थे. 

    यह उद्योग हाथ से गए

    हाल के दिनों में, तीन प्रमुख परियोजनाओं को महाराष्ट्र से अन्य स्थानों पर स्थानांतरित किया गया है. इसमें वेदांता फॉक्सकॉन कंपनी का प्रस्तावित निवेश 1.54 लाख करोड़ रुपए था. इससे डेढ़ लाख नौकरियां मिलनेवाली थीं. यह प्रोजेक्ट गुजरात चला गया. टाटा समूह की 22 हजार करोड़ की टाटा-एयरबस परियोजना मिहान, नागपुर में प्रस्तावित थी, लेकिन समय के साथ यह परियोजना गुजरात के बड़ौदा में चली गई. बल्क ड्रग पार्क परियोजना भी कहीं और चली गई है. जिससे एक बड़ा राजनीतिक विवाद वर्तमान में चल रहा है क्योंकि ये परियोजनाएं अन्य राज्यों में चली गई हैं.