अकोला. उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस (Devendra Fadanvis) के कार्यक्रम से पहले ठाकरे समूह के शिवसैनिकों को पुलिस ने हिरासत में लिया. पुलिस ने शिवसैनिकों को राजराजेश्वर मंदिर में ही रोक दिया था. पुलिस की कार्रवाई को लेकर शिवसेना के ठाकरे ग्रुप के विधायक नितिन देशमुख और पुलिस के बीच जोरदार बहस हो गई. इस समय विधायक नितिन देशमुख (Nitin Deshmukh) ने पुलिस ने शहर में चल रहे अवैध धंधों के संबंध में कई सवाल खड़े किए.
उप मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस, राजस्व मंत्री और जिले के पालक मंत्री राधाकृष्ण विखे पाटिल महाआरोग्य शिविर का उद्घाटन करने के लिए शनिवार को शहर पहुंचे थे. इसे देखते हुए ठाकरे समूह और शिवसेना के पदाधिकारी मनपा संपत्ति कर के मुद्दे पर देवेंद्र फडणवीस को एक ज्ञापन सौंपने वाले थे. लेकिन ज्ञापन देने से पूर्व वह जब राजराजेश्वर मंदिर गए तब पुलिस ने उक्त शिवसैनिकों को हिरासत में ले लिया.
इसकी सूचना मिलने पर विधायक नितिन देशमुख तत्काल राजराजेश्वर मंदिर पहुंचे. उनकी पार्टी के पदाधिकारियों और शिवसैनिकों को हिरासत में क्यों लिया गया? नितिन देशमुख ने पुलिस से पूछा. इस पर पुलिस ने उनके खिलाफ मामला दर्ज करने का इशारा दिया. जिससे विधायक नितिन देशमुख भड़क गए और उन्होंने पुलिस से सवाल किए कि, किस धारा के तहत केस दर्ज कराएंगे?, क्या आपको आरोपी शहर में अवैध कारोबार करते नहीं दिख रहे हैं?, क्या आपको नहीं पता था कि शहर में दंगा होने वाला है?
उन्होंने ऐसे कई सवाल पूछे. इस पर पुलिस ने कहा कि उन्हें सूचना मिली थी कि शिवसैनिक प्रदर्शन की योजना बना रहे हैं जिसके बाद उन्हें हिरासत में लिया गया. इस पर नितिन देशमुख ने पुलिस को उन लोगों को हिरासत में लेने की चुनौती भी दी जो शहर में अवैध कारोबार चला रहे हैं. इस तरह विधायक नितिन देशमुख और पुलिस के बीच तीखी बहस के कारण काफी तनाव पैदा हो गया था.