Vishal Chandani

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    अमरावती. स्थानीय नमूना स्थित राजू टी स्टॉल नाम से कैन्टीन चलाने वाले रामपुरी कैम्प निवासी सूरजकुमार चंदानी के बेटे विशाल चंदानी ने नवंबर 2022 में हुई सीए फाइनल परीक्षा उत्तीर्ण कर सफलता अर्जित की है. जिससे संपूर्ण सिंधी समाज में उसका गौरव किया जा रहा है. विशाल की सफलता से चंदानी परिवार का नाम रोशन हुआ है. उसे यहां तक पहुंचाने के लिए परिवार को काफी गंभीर परिस्थितियों से गुजरना पड़ा. चंदानी रामपुरी कैम्प के एक छोटे से किराए के घर में वह उसके माता पिता और छोटे भाई निकेत के साथ रहते हैं. विशाल अपने पिता का हाथ बंटाने के साथ पूरी लगन से पढ़ाई में लगा रहा.

    उसने बताया कि सीए प्रवेश परीक्षा की तैयारी करने विशाल को नागपुर जाना पड़ा तो उसकी जगह भाई निकेत ने अपनी पढाई के साथ साथ पिता का कैन्टीन में हाथ बंटाना शुरू किया. विशाल ने दिसंबर 2015 में अपने दूसरे प्रयास में यह परीक्षा पास की. जिसके बाद वह फिर अमरावती आ गया और राठी करियर फाउंडेशन ज्वॉइन कर तैयारी करने लगा. इस दौरान भी वह पिता का हाथ बंटाने कैन्टीन जाता था. पढ़ाई और काम को साथ में करना कोई इम्तिहान न समझते हुए जीवन का एक हिस्सा समझा. इसलिए उसे इतना सब मैनेज करने में कोई परेशानी नहीं हुई. 

    दूसरे प्रयास में किया क्लियर

    सीपीटी के बाद आईपीसीसी परीक्षा का पहला ग्रुप अमरावती में रहते हुए उसने दूसरे प्रयास में क्लियर कर लिया. लेकिन ग्रुप 2 क्लियर करने में उसे 6 बार प्रयास करना पडा. 5 बार सफलता हासिल नहीं होने पर भी वह अपनी जिद पर कायम रहा और हार नहीं मानी. मई 2019 के छठे प्रयास में उसने सफलता पाई. ग्रुप 1 क्लियर करने के बाद ही उसने सीए दीपक झंवर के मार्गदर्शन में फाफट एंड राठी कन्सल्टेंसी में आर्टिकलशिप (इंटर्नशिप) शुरू कर दी. जिससे अब उसे पढने के साथ ही नियमित पैसे भी मिलने लगे. इतना लंबा सफर तय करने के बाद विशाल समझ चुका था कि, सीए फाइनल परीक्षा क्रैक करना उसके लिए कोई बडी बात नहीं होगी. फिर भी वह पहले प्रयास में पास नहीं हो पाया, लेकिन दूसरे प्रयास में उसने कर दिखाया और अब वह एक सीए बन चुका है. 

    पुणे करना चाहता जॉब

    विशाल ने बताया कि वह पुणे जाकर जॉब करना चाहता है. उसका भाई निकेत भी सीए की तैयारी कर रहा है. पुणे में अच्छी जॉब लगने पर वह भाई को भी सीए बनाने का भरपूस प्रयास करेगा. विशाल ने कहा कि, उसे इस मंजिल तक पहुंचाने में उसके परिवार, सीए दीपक झंवर, आरसीएफ में सभी ने अपनी अहम भूमिका निभाई.